नयी दिल्ली, चार जुलाई (भाषा) भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी), गुवाहाटी के शोधकर्ताओं ने एक किफायती ‘विकिरणीय कूलर’ कोटिंग सामग्री तैयार की है, जो वातानुकूलन प्रणाली का एक विकल्प है, जिसे संचालित करने के लिए बिजली की भी आवश्यकता नहीं होती है।
अधिकारियों के अनुसार, यह सामग्री बिजली-मुक्त शीतलन प्रणाली है, क्योंकि इसे छतों पर लगाया जा सकता है और यह पारंपरिक एयर-कंडीशनर का विकल्प प्रदान करता है, जिसे रात और दिन दोनों समय इस्तेमाल किया जा सकता है।
आईआईटी गुवाहाटी के शोधकर्ता आशीष कुमार चौधरी ने कहा, ‘‘निष्क्रिय विकिरण शीतलन प्रणाली इन्फ्रारेड विकिरणों के रूप में आसपास से अवशोषित गर्मी उत्सर्जित करके संचालित होती है। अधिकांश निष्क्रिय विकिरण कूलर केवल रात में ही संचालित होते हैं। दिन में संचालन के लिए, ऐसे कूलर को पूर्ण सौर विकिरण को प्रतिबिंबित करने की आवश्यकता होती है।’’
उन्होंने कहा, ‘‘अब तक, ये शीतलन प्रणाली दिन के समय पर्याप्त शीतलन प्रदान करने में सक्षम नहीं हैं। हम इन मुद्दों को हल करने के लिए तैयार हैं और एक सस्ती और अधिक कुशल विकिरण शीतलन प्रणाली लाने के लिए तैयार हैं, जो चौबीसों घंटे काम कर सकती है।’’
उनके नवाचार को आईओपी पब्लिशिंग, यूनाइटेड किंगडम द्वारा ‘जर्नल ऑफ फिजिक्स डी: एप्लाइड फिजिक्स’ में प्रकाशित किया गया है।
शोध टीम के अनुसार, विभिन्न जलवायु परिस्थितियों में परिचालित किये जाने और स्थायित्व के लिए बड़े पैमाने पर प्रोटोटाइप विकसित किये जाने और परीक्षण के बाद यह बाजार तक पहुंच जाएगा। शोधकर्ता अब इस दिशा में काम कर रहे हैं।
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