नई दिल्ली। केजरीवाल सरकार अब ध्वनी प्रदूषण के लिए सख्त कदम उठाना शुरू कर दी है। बिना परमिशन लिए लाउडस्पीकर या पब्लिक एडेसिंग सिस्टम बजाया तो एक लाख तक का जुर्माना देना पड़ेगा।
डीजी सेट के शोर के लिए भी उसके साइज के अनुरूप 10 हजार से एक लाख रुपये तक का जुर्माना अदा करना पड़ सकता है। ऐसे मामलों में उपकरण को भी सीज कर लिया जाएगा। डीपीसीसी (दिल्ली प्रदूषण कंट्रोल कमिटी) ने सभी संबंधित विभागों को ध्वनि प्रदूषण के इन नए जुर्मानों की जानकारी दे दी है और इन्हें लागू करने को कहा है।
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साल 2020 में सीपीसीबी ने ध्वनि प्रदूषण को लेकर यह नए जुर्माने प्रस्तावित किए थे। एनजीटी ने इन्हें मंजूर कर लिया था। जिसके बाद इस साल अप्रैल में सीपीसीबी ने इन प्रस्तावों को लागू करने के लिए निर्देश जारी किए थे। जिसके बाद अब डीपीसीसी ने पुलिस और अन्य एजेंसियों को इसे लागू करने के करने को कहा है।
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शादी समारोह व अन्य धार्मिक आयोजनों में यदि पटाखे का इस्तेमाल किया जा रहा है तो रेजिडेंशल और कमर्शल जोन में 10 हजार और साइलेंट जोन में 30 हजार रुपये तक का जुर्माना होगा। कंस्ट्रक्शन इक्विपमेंट तय मानकों से अधिक शोर करते हैं तो उन पर 50 हजार रुपये तक का जुर्माना लगेगा।
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साथ ही उपकरण को भी सीज कर लिया जाएगा। रिहायशी या कमर्शल इलाकों में पटाखे जला रहा है तो उस पर एक हजार रुपये का जुर्माना होगा। लेकिन यदि पटाखा साइलेंट जोन में जलाया जा रहा है तो यही जुर्माना 3000 रुपये का होगा। इसके अलावा पब्लिक रैली।