नयी दिल्ली, 20 जुलाई (भाषा) दिव्यांगों के अधिकारों के लिए काम करने वाले कार्यकर्ताओं को उम्मीद है कि आगामी बजट में दिव्यांग व्यक्तियों की जरूरतों को पूरा करने और उनके विकास को सुनिश्चित करने के लिए पर्याप्त वित्तीय सहायता दी जाएगी।
राष्ट्रीय दिव्यांग रोजगार संवर्धन केंद्र के कार्यकारी निदेशक अरमान अली ने दिव्यांगों के समावेशी विकास के लिए लक्षित वित्तपोषण सुनिश्चित करने के मद्देनजर विभिन्न मंत्रालयों के वास्ते केंद्रीय और राज्य योजनाओं के तहत बजट आवंटन की आवश्यकता पर बल दिया।
उनका मानना है कि इससे दिव्यांग व्यक्तियों की विविध आवश्यकताओं की पूर्ति होगी तथा विभिन्न क्षेत्रों में पर्याप्त सहायता सुनिश्चित होगी।
उन्होंने बताया कि इस तरह के आवंटन के बिना दिव्यांग व्यक्तियों को स्वास्थ्य देखभाल सुविधाओं तक पहुंच में बाधाओं का सामना करना पड़ेगा।
‘नेशनल प्लेटफॉर्म फोर राइट्स ऑफ द डिसएबल्ड’ (एनपीआरडी) ने भी दिव्यांगों के लिए ऐसी ही मांगों को दोहराया।
एनपीआरडी ने कहा कि दिव्यांग व्यक्तियों से जुड़े मुद्दों से निपटने के लिए सभी पक्षों को दिव्यांगजन अधिकार अधिनियम, 2016 (आरपीडी अधिनियम) के अनुरूप दृष्टिकोण अपनाना चाहिए।
एनपीआरडी ने सुझाव दिया कि मंत्रालयों में आवंटन का पांच प्रतिशत दिव्यांगों के लिए निर्धारित किया जाना चाहिए।
भाषा शफीक देवेंद्र
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