नई दिल्ली: विधानसभा चुनावों में लगातार मिल रही हार के बाद क्या इंडिया गठबंधन बिखर रहा है? क्या कभी एक साथ मिलकर पीएम मोदी को चुनौती देने वाले विपक्षी नेताओं का मनोबल हरियाणा और महाराष्ट्र में भाजपा को मिली प्रचंड जीत से टूट चुका है और उनके बीच विश्वास की कमी हो गई है? (Dimple Yadav refuses to support Congress in Parliament) और क्या पीएम मोदी के खिलाफ शुरू हुआ विपक्षी आंदोलन क्षत्रपों की वजह से ठंडा पड़ने वाला हैं?
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यह सभी सवाल इसलिए उठ रहे हैं क्योंकि एक तरफ जहां समाजवादी पार्टी और टीएमसी के नेता राहुल गाँधी की क्षमता पर सवाल उठा रहे थे तो वही अब संसद के भीतर भी राहुल गांधी और कांग्रेस को अपने ही सहयोगी दलों के नेताओं का समर्थन मिलता नजर नहीं आ रहा है। मामला अडानी के मुद्दे को लेकर संसद ठप्पा रहें से जुड़ा है। इस पर पहले टीएमसी और अब समाजवादी पार्टी की ओर से चौंकाने वाला बयान सामने आया है।
समाजवादी पार्टी की सांसद डिंपल यादव ने बुधवार को कहा कि उनकी पार्टी न तो भाजपा द्वारा कांग्रेस के खिलाफ उठाए गए सोरोस मुद्दे के साथ है और न ही कांग्रेस द्वारा उठाए गए अडानी मुद्दा के साथ है। (Dimple Yadav refuses to support Congress in Parliament) उन्होंने कहा कि सदन चलना चाहिए। डिंपल यादव ने संवाददाताओं से कहा कि सदन चल रहा है। यह आज चालू था और हमें उम्मीद है कि यह चलता रहेगा। हम न तो सोरोस मुद्दे के साथ हैं और न ही अदानी मुद्दे के साथ। हमारा मानना है कि सदन चलना चाहिए।
Delhi: SP MP Dimple Yadav says, “We are neither with the issues of Soros nor with the issues of Adani. I believe the Sadan should function smoothly as the Lok Sabha session is the winter session. We fully expect that members from both sides will show complete diligence in… pic.twitter.com/qEAxCUgHId
— IANS (@ians_india) December 11, 2024
Dimple Yadav refuses to support Congress in Parliament