गुवाहाटी। सोशल मीडिया पर आये दिन नए-नए मुद्दे ट्रेंड पर रहते हैं। खासकर राजनीतिक ट्रेंड से सोशल मीडिया की दीवारें भरी पड़ी रहती हैं। बात करें मौजूदा ट्रेंड की तो वह योगी और हिमंता सरमा से जुड़ा हुआ हैं। (Demand to make Himanta Biswa Sarma the Home Minister of India) एक यूजर ने मांग रखी हैं कि देश का अगला प्रधानमंत्री यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ को होना चाहिए जबकि गृहमंत्री असम के मुखिया और फायर ब्रांड नेता हिमंता बिस्वा सरमा को बनाया जाना चाहिए। तो आइये जानते हैं कि आखिर किस फैसले के बाद यूजर ने ऐसी बात कही हैं।
मुस्लिमों से जुड़े बड़े और कड़े फैसले लेने के लिए देशभर में पहचान बना चुके असम के सीएम हिमंता शर्मा के एक और फैसले ने हर किसी को प्रतिक्रिया देने पर मजबूर कर दिया हैं। उनके इस निर्णय का भाजपा और हिंदूवादी संगठन स्वागत कर रहे है तो वही विपक्षी विरोध भी जता रहे है।
असम विधानसभा की उत्पादकता को बढ़ाने के उद्देश्य से राज्य के औपनिवेशिक बोझ को हटाने के लिए, प्रति शुक्रवार सदन को जुम्मे के लिए 2 घंटे तक स्थगित करने के नियम को रद्द किया गया।
यह प्रथा 1937 में मुस्लिम लीग के सैयद सादुल्लाह ने शुरू की थी।
भारत के प्राचीन धर्मनिरपेक्ष मूल्यों…
— Himanta Biswa Sarma (@himantabiswa) August 30, 2024
दरअसल सीएम हिमंता बिस्वा सरमा ने ऐलान किया हैं कि राज्य के मुस्लिम कर्मचारियों को जुम्मे की नमाज के लिए दो घंटे की छुट्टियाँ दी जाती थी वह अब नहीं दी जाएगी। (Demand to make Himanta Biswa Sarma the Home Minister of India) इस बारे में सीएम सरमा ने एक्स पर लिखा कि “असम विधानसभा की उत्पादकता को बढ़ाने के उद्देश्य से राज्य के औपनिवेशिक बोझ को हटाने के लिए, प्रति शुक्रवार सदन को जुम्मे के लिए 2 घंटे तक स्थगित करने के नियम को रद्द किया गया।”
उन्होने आगे लिखते हुए बताया कि, “यह प्रथा 1937 में मुस्लिम लीग के सैयद सादुल्लाह ने शुरू की थी। भारत के प्राचीन धर्मनिरपेक्ष मूल्यों को कायम रखने के इस प्रयास के लिए असम विधानसभा के माननीय सभापति जी और माननीय सदस्यों को मेरा आभार।”
सीएम के इस ऐलान के बाद भाजपा समर्थकों के साथ कुछ यूजर्स ने इस फैसले का पुरजोर समर्थन किया है। बालियान नाम के एक समर्थक ने लिखा, ‘शानदार और ऐतिहासिक फ़ैसला। (Demand to make Himanta Biswa Sarma the Home Minister of India) जो प्रथा मुस्लिम लीग ने शुरू की थी वो कांग्रेस द्वारा सत्तर साल ढोयी गई।”
एक अन्य यूजर केशव सिंह ने लिखा, “बहुत ही शानदार ऐतिहासिक फैसला। हिमंता दा कठोर और राज्य हितैषी फैसले लेने में आपका जबाब नही”
सुनील सैनी नाम के एक्स यूजर ने लिखा कि, “आपने बहुत बढ़िया निर्णय लिया है। इस निर्णय के लिए समस्त हिन्दू समाज आपका बहुत आभारी है।”
लेकिन ऐसा नहीं हैं कि सभी इस फैसले की तारीफ कर रहे हो। कई मुस्लिम और नॉन मुस्लिम यूजर्स ने इसपर अपनी गहरी आपत्ति और नाराजगी भी जाहिर की है। इस पर अंसार इमरान ने लिखा कि, “जो बंदा दिन रात हिंदू मुसलमान की राजनीति करता है वह खुद को धर्मनिरपेक्ष बता रहा है ग़जब”
कृष्ण संजीत जाटव ने लिखा, “विनाश काल विपरीत बुद्धि
इस्लाम से नफरत करने वाले तमाम आए गए लेकिन इस्लाम अभी तक जिंदा है।”
सैय्यद नवाज आलम ने लिखा, ‘सत्ता में बने रहने के लिए और एक कौम को नाराज़ कर दूसरे कौम को खुश करने कि लिए आप और कितना नीचे गिरेंगे। (Demand to make Himanta Biswa Sarma the Home Minister of India) भगवान का डर है है तो ईमानदारी से अपना कर्तव्य निभाए।’