अरब सागर में बना गहन अवदाब चक्रवात असना में तब्दील, 1976 के बाद अगस्त में अरब सागर में पहला चक्रवात

अरब सागर में बना गहन अवदाब चक्रवात असना में तब्दील, 1976 के बाद अगस्त में अरब सागर में पहला चक्रवात

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  • Publish Date - August 30, 2024 / 09:07 PM IST,
    Updated On - August 30, 2024 / 09:07 PM IST

(तस्वीरों के साथ)

नयी दिल्ली, 30 अगस्त (भाषा) गुजरात में शुक्रवार को मूसलाधार बारिश और बाढ़ का कारण बना गहन ‘अवदाब’ कच्छ के अपतटीय और पास के पाकिस्तानी इलाके में चक्रवात ‘असना’ में तब्दील हो गया। वर्ष 1976 के बाद से अरब सागर में अगस्त महीने में आया यह पहला चक्रवात है। भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने यह जानकारी दी।

इसका चक्रवात का नाम ‘असना’ पाकिस्तान ने दिया है।

आईएमडी के अनुसार, वर्ष 1891 और 2023 के बीच अगस्त के दौरान अरब सागर में केवल तीन चक्रवात आए (1976, 1964 और 1944 में) हैं।

वर्ष 1976 का चक्रवात ओडिशा से बनने के बाद पश्चिम-उत्तर-पश्चिम की ओर बढ़ा और अरब सागर में प्रवेश कर गया। हालांकि ओमान तट के पास उत्तर-पश्चिम अरब सागर में यह कमजोर हो गया।

वर्ष 1944 के चक्रवात ने अरब सागर में बनने के बाद प्रचंड रूप लिया। वर्ष 1964 में एक और अल्पकालिक चक्रवात दक्षिण गुजरात तट के पास उत्पन्न हुआ और तट के करीब ही कमजोर हो गया।

कच्छ तट और पाकिस्तान तथा पूर्वोत्तर अरब सागर के आसपास के क्षेत्रों के ऊपर बना ‘गहन अवदाब’ पिछले छह घंटों के दौरान छह किमी प्रति घंटे की गति से पश्चिम की ओर बढ़ गया जो चक्रवात ‘असना’ (जिसे अस-ना कहा जाता है) में बदल गया। यह चक्रवात सुबह साढ़े 11 बजे भुज (गुजरात) से 190 किमी दूर पश्चिम-उत्तर पश्चिम में फिर उसी क्षेत्र पर केंद्रित हो गया।

यह अगले दो दिनों तक भारतीय तट से दूर उत्तर-पूर्व अरब सागर के ऊपर लगभग पश्चिम-उत्तर पश्चिम की ओर बढ़ता रहेगा।

गहन अवदाब एक कम दबाव की स्थिति है जिसमें हवा की गति 52 किमी प्रति घंटे से 61 किमी प्रति घंटे तक होती है, जबकि चक्रवात में हवा की गति 63 किमी प्रति घंटे और 87 किमी प्रति घंटे के बीच होती है। यानी गहन अवदाब की स्थिति चक्रवात उत्पन्न होने से पहले की स्थिति है।

किसी कम दबाव प्रणाली के चक्रवात में बदलने के लिए समुद्र की सतह का तापमान 27 डिग्री सेल्सियस या इससे अधिक होना आवश्यक है।

फिलहाल बंगाल की खाड़ी में समुद्र की सतह का तापमान 28-30 डिग्री सेल्सियस है। अरब सागर में यह लगभग 27-28 डिग्री सेल्सियस है।

पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय के पूर्व सचिव माधवन नायर राजीवन ने कहा कि उत्तरी अरब सागर के ऊपर मौसम प्रणाली को चक्रवात में तब्दील होते देखना आश्चर्यजनक है।

उन्होंने ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा, ‘‘प्रशिक्षण के दौरान हमने अपने शिक्षकों और पाठ्यपुस्तकों से सीखा कि उत्तरी अरब सागर मानसून के मौसम में समुद्री अपवाह के कारण ठंडा हो जाता है और कोई भी मौसम प्रणाली वहां प्रबल नहीं हो सकती।’’ फिर ऐसा कैसे हुआ? अरब सागर वैश्विक तापन के प्रभाव के कारण गर्म हो रहा है, लेकिन हमें पूरी प्रणाली को समझने की जरूरत है।

गुजरात में बारिश से जुड़ी घटनाओं में पिछले तीन दिनों में 26 लोगों की जान चली गई है। राज्य में बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों से 18,000 से अधिक लोगों को स्थानांतरित किया गया है और लगभग 1,200 लोगों को बचाया गया है।

भाषा

संतोष पवनेश

पवनेश