Mother of minor accused in Pune Porsche accident case arrested

Pune Porsche Accident Case : नाबालिग आरोपी की मां को क्राइम ब्रांच ने किया गिरफ्तार, बेटे को बचाने के लिए की थी ये हरकत

Pune Porsche Accident Case : पोर्श कार असिडेंट मामले में क्राइम ब्रांच ने बड़ा एक्शन लिया है। इस मामले में नाबालिग आरोपी की मां को गिरफ्तार कर

Edited By :   Modified Date:  June 1, 2024 / 08:35 AM IST, Published Date : June 1, 2024/8:35 am IST

पुणे : Pune Porsche Accident Case : महाराष्ट्र के पुणे में बीते दिनों हुए पोर्श कार असिडेंट मामले में क्राइम ब्रांच ने बड़ा एक्शन लिया है। क्राइम ब्रांच ने अब इस मामले में नाबालिग आरोपी की मां को भी गिरफ्तार कर लिया है। नाबालिग आरोपी की मां शिवानी अग्रवाल ने बेटे के ब्लड सैंपल से ना केवल छेड़छाड़ की थी बल्कि इसे बदल भी दिया था। जब इस बात का खुलासा हुआ तो शिवानी अंडरग्राउंड हो गई थी, लेकिन वो पुलिस के शिकंजे से ज्यादा दिन भाग नहीं सकी और णे पुलिस ने उसे खोज निकाला है। शिवानी कल रात मुंबई से पुणे आई थी, जहां क्राइम ब्रांच ने उन्हें गिरफ्तार कर लिया है।

बता दें कि, पुलिस की जांच में अब सामने आया था कि शराब के नशे में धुत नाबालिग के ब्लड सैंपल को उसकी मां के ब्लड सैंपल से ही बदला गया था। पुलिस सूत्रों के मुताबिक नाबालिग लड़के की मां शिवानी अग्रवाल ने पुणे के ससून जनरल अस्पताल में अपना ब्लड सैंपल दे दिया था। इस सैंपल को ही उनके बेटे के सैंपल के साथ बदल दिया गया।

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डॉक्टर्स की गिरफ्तारी के बाद हुआ बड़ा खुलासा

Pune Porsche Accident Case :  दरअसल, ब्ल्ड सैंपल में हेराफेरी मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. श्रीहरि हलनोर और उनके स्टाफ ने की थी। इस फर्जीवाड़े के सामने आने के बाद डॉ. हलनोर और डॉ. अजय तावड़े को गिरफ्तार कर लिया गया है। जबकि, शिवानी अग्रवाल इन दोनों के अरेस्ट होने के बाद से फरार चल रही थी। वहीं अब क्राइम ब्रांच की टीम ने शिवानी को गिरफ्तार कर लिया है।

डॉक्टर की नियुक्ति हुई थी विधायक की सिफारिश पर

अस्पताल के डीन विनायक काले का दावा है कि नाबालिग के ब्लड सैंपल बदलने वाले आरोपी डॉ. तावड़े को विधायक सुनील टिंगरे की सिफारिश के बाद नियुक्त किया गया था। सिफारिश के बाद ही चिकित्सा शिक्षा मंत्री हसन मुश्रीफ ने इस नियुक्ति को मंजूरी दी थी। विनायक काले ने बताया कि किडनी ट्रांसप्लांट और ड्रग मामलों में आरोपी होने के बावजूद डॉ. तावड़े को फॉरेंसिक मेडिकल विभाग का प्रमुख नियुक्त किया गया।

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डॉक्टर और आरोपी के पिता के बीच कई बार हुई बात

Pune Porsche Accident Case :  पुलिस सूत्रों ने बताया कि, नाबालिग के रक्त के नमूने एकत्र किए जाने से पहले, नाबालिग के पिता विशाल अग्रवाल ने डॉ. तावड़े से वाट्सऐप और फेसटाइम कॉल के साथ-साथ एक जनरल कॉल के जरिए बात की थी। दोनों के बीच कुल 14 बार कॉलिंग हुई। ये कॉल 19 मई की सुबह 8.30 बजे से 10.40 बजे के बीच किए गए थे। बता दें कि नाबालिग के ब्लड सैंपल सुबह 11 बजे लिए गए थे।

दरअसल, फोरेंसिक साइंस लेबोरेटरी (FSL) की रिपोर्ट में पहले ब्लड सैंपल में अल्कोहल नहीं पाया गया। संदेह होने पर एक दूसरे अस्पताल में फिर टेस्ट किया गया। यहां डीएनए टेस्ट से खुलासा हुआ कि ब्लड सैंपल दो अलग-अलग व्यक्तियों के थे। दूसरे टेस्ट की रिपोर्ट सामने आने के बाद पुलिस को शक हुआ कि ससून अस्पताल के डॉक्टरों ने आरोपी को बचाने के लिए सबूतों के साथ छेड़छाड़ की है।

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