चुनावों में यहां भी हारी कांग्रेस, सिर्फ एक सीट से करना पड़ा संतोष, बीजेपी की बल्ले-बल्ले | Congress lost in elections here too, had to be satisfied with only one seat, BJP's bat

चुनावों में यहां भी हारी कांग्रेस, सिर्फ एक सीट से करना पड़ा संतोष, बीजेपी की बल्ले-बल्ले

चुनावों में यहां भी हारी कांग्रेस, सिर्फ एक सीट से करना पड़ा संतोष, बीजेपी की बल्ले-बल्ले

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:09 PM IST, Published Date : December 13, 2020/9:26 am IST

गुवाहाटी। बीजेपी अपने नए सहयोगी यूनाइडेट पीपल्‍स पार्टी लिबरेशन (यूपीपीएल) के साथ बोडोलैंड टेरिटोरियल काउंसिल (बीटीसी) की बागडोर थामने को तैयार है। उसे इन चुनावों में 9 सीटों पर जीत हासिल हुई है। वहीं कांग्रेस को सिर्फ एक सीट से संतोष करना पड़ा है। बीजेपी के पहले के सहयोगी रह चुके बोडोलैंड पीपल्‍स फ्रंट (बीपीएफ) के साथ उसके संबंधों में खटास आ चुकी है। बीटीसी चुनावों में बीपीएफ 40 में से 17 सीटें मिली हैं।

ये भी पढ़ें:पंजाब के डीआईजी(कारागार) ने किसानों के समर्थन में इस्तीफा दिया

यहां आशंका त्रिशंकु सदन की है। गृह मंत्री अमित शाह ने भी यूपीपीएल और प्रदेश के सीएम सोनोवाल को इस जीत की बधाई दी है। रविवार को दिए अपने संदेश में अमित शाह ने कहा, ‘एनडीए को असम बोडोलैंड टेरिटोरियल काउंसिल चुनावों में निर्णायक बहुमत मिला है। हमारे सहयोगी यूपीपीएल, सीएम सोनोवाल, राज्‍यमंत्री एचबी सरमा और असम की पार्टी यूनिट को बहुत-बहुत बधाई। नॉर्थ ईस्‍ट के विकास के लिए प्रधानमंत्री मोदी की प्रतिबद्धता में विश्‍वास जताने के लिए मैं असम की जनता का धन्‍यवाद देता हूं।’

ये भी पढ़ें:दिल्ली से ज्यादा प्रदूषित ग्रेटर नोएडा और नोएडा

इस चुनाव में यूपीपीएल को 12 सीटें मिली हैं जबकि, बीजेपी को नौ सीटों पर जीत हासिल हुई है। कांग्रेस और गण सुरक्षा पार्टी (जीएसपी) को एक-एक सीट मिली है। आधिकारिक तौर पर बीजेपी और यूपीपीएल ने अलग-अलग चुनाव लड़ा था लेकिन उम्‍मीद है कि दोनों चुनाव बाद गठबंधन कर सकते हैं। गुवाहाटी में इसकी तैयारियां भी चल रही हैं।

ये भी पढ़ें: कोरोना वायरस: नोएडा में 49 नए मामले आए सामने

हालांकि, बीपीएफ सबसे बड़ी अकेली पार्टी के रूप में उभरी है उसे उम्‍मीद है कि बीजेपी के साथ गठबंधन के बल पर वह काउंसिल पर कब्‍जा कर सकेगी। हालांकि बीजेपी का प्रदेश नेतृत्‍व इस गठबंधन को आगे बढ़ाने के पक्ष में नहीं हैं। लेकिन बीपीएफ के नेताओं का कहना है कि जब तब बीजेपी के नेता इनकार नहीं कर देते तब तक यह गठबंधन माना जाएगा। लेकिन बीजेपी के प्रदेश अध्‍यक्ष रंजीत दास ने क्षेत्र के मतदाताओं और 5.4 लाख कार्यकर्ताओं का आभार जताया आया। साल 2015 में बीजेपी ने महज एक सीट जीती थी। रंजीत दास ने खुलकर ऐलान किया है कि अब बीपीएफ नहीं बल्कि यूपीपीएल उनका साझीदार होगा।