डॉक्टर के खिलाफ विरोध के दौरान भाजपा विधायक ने विस अध्यक्ष को भेजा इस्तीफा, बाद में जताया अफसोस

डॉक्टर के खिलाफ विरोध के दौरान भाजपा विधायक ने विस अध्यक्ष को भेजा इस्तीफा, बाद में जताया अफसोस

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  • Publish Date - October 11, 2024 / 03:29 PM IST,
    Updated On - October 11, 2024 / 03:29 PM IST

सागर (मध्यप्रदेश), 11 अक्टूबर (भाषा) मध्यप्रदेश के सागर जिले के एक भाजपा विधायक ने विधानसभा अध्यक्ष को अपना इस्तीफा भेज दिया।

मृत्यु प्रमाण पत्र जारी करने के लिए एक परिवार से कथित तौर पर पैसे मांगने वाले डॉक्टर के खिलाफ कार्रवाई की मांग करते हुए विधायक ने विरोधस्वरूप इस्तीफा भेजा।

देवरी विधायक बृज बिहारी पटेरिया ने बृहस्पतिवार रात एक पुलिस थाने के बाहर धरना दिया और बाद में कार्रवाई का आश्वासन मिलने के बाद आंदोलन वापस ले लिया।

सागर के पुलिस अधीक्षक विकास साहवाल ने कहा कि विधायक ने रात 11 बजे से 12.30 बजे तक केसली थाने में विरोध प्रदर्शन किया।

साहवाल ने कहा कि विधायक की मांगों पर विचार किए जाने के आश्वासन के बाद उन्होंने आंदोलन समाप्त कर दिया।

पटेरिया ने शुक्रवार को ‘पीटीआई-भाषा’ से बातचीत में कहा कि उन्हें इस्तीफा सौंपने का अफसोस है और उन्होंने ऐसा इसलिए किया क्योंकि वह गुस्से में और आहत थे।

उन्होंने कहा, ‘मैं बस इतना चाहता था कि एक गरीब आदमी की रिपोर्ट (डॉक्टर के खिलाफ) दर्ज हो। जांच करना और रिपोर्ट (एफआईआर) लिखना पुलिस का काम है।’

विधायक ने कहा कि सर्पदंश के शिकार 70-वर्षीय एक व्यक्ति के परिजनों ने एक डॉक्टर से मृत्यु प्रमाण पत्र मांगा था, जिसमें सर्पदंश से मौत होने की बात समाहित हो, क्योंकि उसे मुआवजा लेना था।

उन्होंने आरोप लगाया कि डॉक्टर ने प्रमाण-पत्र जारी करने के लिए परिवार से 40 हजार रुपये की मांग की। पटेरिया ने कहा कि सांप के काटने से मरने वाले व्यक्ति के परिजनों को चार लाख रुपये मुआवजे के तौर पर दिए जाते हैं।

उन्होंने दावा किया, ‘यह मजदूरों का परिवार है। उन्हें लगा कि उनके पिता की मौत के बाद वे मुआवजे के हकदार हैं। इस डॉक्टर ने सर्पदंश का प्रमाण-पत्र देने के लिए घूस के तौर पर मुआवजा राशि का 10 प्रतिशत यानी 40 हजार रुपये मांगे। परिवार ने मृत सांप को भी (अस्पताल में) पेश किया।’

विधायक ने दावा किया कि परिवार ने 10 हजार रुपये का इंतजाम किया, लेकिन डॉक्टर ने पैसे नहीं लिये।

उन्होंने कहा, ‘‘इसलिए मैं थाने के सामने बैठ गया और पुलिस अधीक्षक के वहां आने और नगर निरीक्षक को निलंबित करने की मेरी मांग स्वीकार करने तथा डॉक्टर को निलंबित करने का आश्वासन देने के बाद मैंने धरना समाप्त कर दिया।’

पटेरिया ने कहा कि भाजपा प्रदेश अध्यक्ष ने उन्हें निर्देश दिया और कहा कि उनकी मांगें जायज हैं।

भाषा दिमो सुरेश

सुरेश