उत्तराखंड में दो रोपवे परियोजनाओं को मंजूरी से श्रद्धालुओं का समय बचेगा, यात्रा और सुगम होगी: मोदी

उत्तराखंड में दो रोपवे परियोजनाओं को मंजूरी से श्रद्धालुओं का समय बचेगा, यात्रा और सुगम होगी: मोदी

उत्तराखंड में दो रोपवे परियोजनाओं को मंजूरी से श्रद्धालुओं का समय बचेगा, यात्रा और सुगम होगी: मोदी
Modified Date: March 5, 2025 / 07:12 pm IST
Published Date: March 5, 2025 7:12 pm IST

नयी दिल्ली, पांच मार्च (भाषा) प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने बुधवार को कहा कि केंद्रीय मंत्रिमंडल की ओर से उत्तराखंड में दो रोपवे परियोजनाओं के निर्माण से केदारनाथ और हेमकुंड साहिब जाने वाले श्रद्धालुओं का समय बचेगा तथा उनकी यात्रा और सुगम होगी।

आर्थिक मामलों की मंत्रिमंडलीय समिति (सीसीईए) ने सोनप्रयाग से केदारनाथ (12.9 किलोमीटर) और गोविंदघाट से हेमकुंड साहिबजी (12.4 किमी) रोपवे परियोजनाओं को मंजूरी दी। इन परियोजनाओं पर कुल 6,811 करोड़ रुपये की लागत आएगी।

इन दो महत्वाकांक्षी परियोजनाओं के निर्माण की समयसीमा चार से छह वर्ष निर्धारित की गई है।

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प्रधानमंत्री ने ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा, ‘‘आज कैबिनेट ने दो महत्वपूर्ण निर्णय लेते हुए देवभूमि उत्तराखंड में दो नए रोपवे को मंजूरी दी है। सोनप्रयाग से केदारनाथ और गोविंदघाट से हेमकुंड साहिब जी तक। इनके निर्माण से जहां श्रद्धालुओं का समय बचेगा, वहीं उनकी यात्रा और सुगम होगी।’’

सोनप्रयाग से केदारनाथ तक 12.9 किमी लंबे रोपवे का निर्माण डिजाइन, निर्माण, वित्त, संचालन और हस्तांतरण (डीबीएफओटी) प्रारूप पर किया जाएगा, जिसकी कुल लागत 4,081.28 करोड़ रुपये होगी।

रोपवे को सार्वजनिक-निजी भागीदारी में विकसित करने की योजना है और यह सबसे उन्नत ‘ट्राई-केबल डिटैचेबल गोंडोला’ (3एस) प्रौद्योगिकी पर आधारित होगा, जिसके तहत प्रति घंटे हर ओर 1,800 यात्री यात्रा कर सकेंगे। रोपवे के जरिये प्रतिदिन 18,000 यात्री यात्रा कर सकेंगे।

प्रधानमंत्री मोदी बृहस्पतिवार को उत्तराखंड का दौरा भी करने वाले हैं। वह मुखबा में मां गंगा के शीतकालीन प्रवास स्थल में पूजा-अर्चना करेंगे।

उन्होंने एक अन्य पोस्ट में कहा, ‘‘यह पावन स्थल अपने आध्यात्मिक माहात्म्य और अद्भुत सौंदर्य के लिए दुनियाभर में प्रसिद्ध है। इतना ही नहीं, यह ‘विरासत भी और विकास भी’ के हमारे संकल्प का एक अनुपम उदाहरण है।’’

प्रधानमंत्री ने कहा कि उत्तराखंड में पर्यटन को बढ़ावा देकर राज्य की अर्थव्यवस्था को और सशक्त बनाने के लिए वह प्रतिबद्ध हैं।

भाषा ब्रजेन्द्र

ब्रजेन्द्र पवनेश

पवनेश


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