नई दिल्ली। दिल्ली हाईकोर्ट से जूही चावला को राहत नहीं मिली है। 5जी तकनीक को चुनौती देने वाली याचिका दाखिल करने वाली जूही चावला और अन्य याचिकाकर्ता को एक सप्ताह में ₹ 20 लाख जमा करने का आदेश दिया है। वहीं कोर्ट ने याचिकाकर्ताओं के आचरण पर हैरानी जताई है।
कोर्ट के मुताबिक एक तरफ आप महत्वहीन आवेदन देते हैं और फिर उसे वापस लेते हैं और याचिकाकर्ता जुर्माने की रकम जमा करने को भी तैयार नहीं हैं। अदालत ने कहा कि, ‘वास्तव में हमने नरम रुख अपनाते हुए जूही चावला सहित अन्य याचिकाकर्ताओं के खिलाफ अवमानना की कार्यवाही शुरू नहीं की और केवल 20 लाख का जुर्माना लगाकर छोड़ दिया.’
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याचिकाकर्ताओं के वकील का स्टैंड
हमारा स्टैंड यह नहीं था कि हम जुर्माने का भुगतान नहीं करेंगे और इसकी माफी के लिए आवेदन में किसी तरह का दबाव भी नहीं डाला गया है। ऐसी कोई अपेक्षा नहीं है। आज भी मेरा निर्देश है कि, किसी ने नहीं कहा कि जुर्माने की रकम जमा नहीं की जाएगी। मैंने फैसले में देखा है क्या लिखा है।
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वकील ने कहा, मैं पूरी तरह से समझता हूं। कोर्ट ने मल्होत्रा का यह बयान दर्ज कर लिया कि, उन्हें रकम जमा करने के लिए एक सप्ताह का समय चाहिए और वे सभी कानूनी उपायों का सहारा ले सकते हैं।
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जज ने वकील से कहा, ‘मैं शॉक्ड हूं. कोर्ट ने इस मामले में नरम रुख अपनाया और अवमानना की कार्रवाई नहीं की। ‘मैं ऐसा करने का इच्छुक था। आप कहते हैं कि अदालत को जुर्माना लगाने की कोई शक्ति नहीं थीं, लेकिन अदालत के पास अवमानना की कार्रवाई करने की शक्ति है। कोर्ट ने जूही और अन्य के वेवर ऑफ कास्ट के आवेदन पर सख्त आपत्ति जताई.’