मानव-हाथी संघर्ष टालने के लिए असम के वनक्षेत्र से 450 परिवारों को हटाया गया : अधिकारी

मानव-हाथी संघर्ष टालने के लिए असम के वनक्षेत्र से 450 परिवारों को हटाया गया : अधिकारी

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  • Publish Date - September 24, 2024 / 07:16 PM IST,
    Updated On - September 24, 2024 / 07:16 PM IST

ग्वालपाड़ा (असम), 24 सितंबर (भाषा) मानव-हाथी संघर्ष की घटनाओं को कम करने के मद्देनजर असम के ग्वालपाड़ा जिले में 55-60 हेक्टेयर वन भूमि से मंगलवार को 450 परिवारों को हटाया गया, जिनमें लगभग 2000 लोग शामिल हैं। अधिकारियों ने यह जानकारी दी।

अधिकारियों ने बताया कि ये परिवार अवैध रूप से बस्ती बसाकर रह रहे थे।

अधिकारियों ने कहा कि एक अभियान के दौरान उस क्षेत्र से कई सरकारी ढांचे भी हटा दिए गए, जिससे मानव-हाथी संघर्ष को रोकने में मदद मिलेगी।

यह कवायद लखीपुर रेंज में 118 हेक्टेयर में फैले बंडरमाठा संरक्षित वनक्षेत्र में भारी संख्या में सुरक्षाकर्मियों और प्रशासनिक एवं वन अधिकारियों की मौजूदगी में किया गया।

ग्वालपाड़ा के संभागीय वन अधिकारी तेजस मारिस्वामी ने कहा, ‘‘यह अभियान गौहाटी उच्च न्यायालय के आदेश के अनुसार चलाया जा रहा है, जिसमें निर्देश दिया गया है कि ग्वालपाड़ा के सभी आरक्षित वन क्षेत्रों को अतिक्रमण से मुक्त किया जाए। पूरे देश में ग्वालपाड़ा में मानव-हाथी संघर्ष सबसे अधिक है।’’

उन्होंने कहा कि क्षेत्र को साफ करने के बाद वनरोपण अभियान चलाया जाएगा और इसे हाथियों के रहने लायक बनाया जाएगा।

मारिस्वामी ने कहा, ‘‘हम 55-60 हेक्टेयर क्षेत्र से लोगों को हटा रहे हैं। यहां करीब 450 परिवार रहते हैं, जिनमें करीब 2,000 लोग हैं। पिछले सप्ताह हमने फ्लैग मार्च किया, लोगों को हमारे सीमाक्षेत्र के बारे में बताया और उनसे सीमांकित क्षेत्र से बाहर जाने का अनुरोध किया।’’

उन्होंने दावा किया कि क्षेत्र में अवैध रूप से बसे अधिकांश लोग स्वेच्छा से बाहर चले गए हैं।

भाषा शफीक अमित

अमित