इंदौर: आंखफोड़वा कांड को लेकर प्रशासन ने अस्पताल प्रबंधन के खिलाफ सख्ती बरतनी शुरू कर दी है। मामले को लेकर प्रशासन ने पहली एफआईआर दर्ज की है। आंखफोड़वा कांड को लेकर डायरेक्टर सुधीर महाशब्दे के अलावा तीन डॉक्टर डॉ सुहास बांडे, डॉ अनुसुइया चौहान और डॉ वनिन्दर कौर के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई है। बता दें कि कमिश्नर आकाश त्रिपाठी ने बुधवार दोपहर छत्रीपुरा थाना को एफआईआर के निर्देश दिए हैं।
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बता दें कि इसके पहले इंदौर आई केयर हॉस्पिटल में मोतियाबिंद के ऑपरेशन के बाद 11 मरीजों की आंखों की रोशनी चली जाने के मामले में सरकार ने कड़ा रवैया अपनाते हुए अस्पताल का लाइसेंस निरस्त करने के साथ ही ओटी को सील करवा दिया है। मामले की जांच के लिए सात सदस्यीय कमेटी बनाई गई। वहीं रेडक्राॅस से 20 हजार रुपए की मदद के साथ ही सभी पीड़ितों का इलाज सरकार करवाएगी, जिसके लिए उन्हें चोइथराम अस्पताल में भर्ती करवाया गया है। मुख्यमंत्री ने मामले में संज्ञान लेते हुए पीड़ितों को 50-50 हजार रुपए की सहायता राशि देने की घोषणा की है।
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