कम वर्षा की स्थिति से निपटने राज्य सरकार ने शुरू की तैयारियां, सीएम ने कृषि- राजस्व विभाग को कार्य योजना तैयार करने के दिए निर्देश | Preparations for the State Government to tackle the situation of low rainfall CM directs the Agriculture-Revenue Department to prepare work plan

कम वर्षा की स्थिति से निपटने राज्य सरकार ने शुरू की तैयारियां, सीएम ने कृषि- राजस्व विभाग को कार्य योजना तैयार करने के दिए निर्देश

कम वर्षा की स्थिति से निपटने राज्य सरकार ने शुरू की तैयारियां, सीएम ने कृषि- राजस्व विभाग को कार्य योजना तैयार करने के दिए निर्देश

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:28 PM IST, Published Date : July 25, 2019/12:48 pm IST

रायपुर। छत्तीसगढ़ प्रदेश में कम वर्षा की स्थिति से निपटने के लिए राज्य सरकार ने तैयारियां शुरू कर दी हैं। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कृषि और राजस्व विभाग के अधिकारियों को इसके लिए कार्य योजना तैयार करने के निर्देश दिए हैं। मुख्यमंत्री ने गुरुवार को मंत्रालय (महानदी भवन) में कृषि और राजस्व विभाग के अधिकारियों के साथ आयोजित बैठक में वर्षा की वर्तमान स्थिति में कृषि गतिविधियों के साथ कम वर्षा की स्थिति से निपटने की तैयारियों की समीक्षा की।

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मुख्यमंत्री ने बैठक में कहा कि पटवारियों के माध्यम से शत-प्रतिशत गिरदावरी यानि मौकास्थल का जायजा लें। पटवारी किसानों के खेत में जाकर गिरदावरी करें। पटवारी के साथ कृषि, राजस्व, पंचायत विभाग के मैदानी अमले के अधिकारी-कर्मचारी और किसानों को भी ले जाया जाए और उनके दस्तखत कराए जाएं तथा फोटोग्राफ भी लिए जाएं। मुख्यमंत्री ने कहा कि शत-प्रतिशत गिरदावरी होने से किसान ने अपने खेत में कितने रकबे में कौन सी फसल की बुबाई की है, इसकी सही-सही जानकारी मिलेगी। किसानों को प्राकृतिक आपदा होने पर मुआवजे के लिए पटवारियों के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे। किसानों को राजस्व पुस्तक परिपत्र के प्रावधानों के अनुसार मुआवजा और फसल बीमा की राशि मिल जाएगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि अधिकारी यह सुनिश्चित करें कि पटवारी किसी भी हालत में घर बैठे गिरदावरी का कार्य नहीं करें।

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सीएम भूपेश बघेल ने बैठक में कहा कि कृषि विभाग के मैदानी अमले के अधिकारी और कर्मचारी किसानों को कम वर्षा की स्थिति में वैकल्पिक फसलों के लिए तकनीकी मार्गदर्शन देने का कार्य भी प्रारंभ करें। उन्होंने कहा कि जिला कलेक्टर अपने जिले में वर्षा और फसलों की स्थिति की लगातार निगरानी करें और किसी भी स्थिति से निपटने के लिए कार्य योजना तैयार कर लें।

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बैठक में कृषि विभाग के अधिकारियों ने बताया कि प्रदेश के सात जिलों (सूरजपुर, कोरिया, गरियाबंद, धमतरी, बस्तर, नारायणपुर और कोण्डागांव) में सामान्य वर्षा दर्ज की गई है। शेष 20 जिलों में वर्षा सामान्य से कम है, इनमें से रायपुर, बलौदाबाजार, दुर्ग, राजनांदगांव, बेमेतरा और कांकरे जिले अति अल्पवृष्टि के अंतर्गत है। वर्तमान में किसी भी जिले में फसल सूखने या दोबारा बोनी की स्थिति निर्मित नहीं हुई है। सामान्य वर्षा की स्थिति में धान की शीघ्र एवं मध्यम पकने वाली फसलों की बुबाई और रोपाई 15 अगस्त तक की जा सकती है।

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मुख्यमंत्री ने कम वर्षा की स्थिति में कृषि और राजस्व विभाग के अधिकारियों को वैकल्पिक फसलों के लिए बीज और खाद की अग्रिम व्यवस्था करने, पशुओं के चारे की व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं। बैठक में गृहमंत्री ताम्रध्वज साहू, नगरीय प्रशासन मंत्री शिवकुमार डहरिया, सहकारिता मंत्री डॉ. प्रेमसाय सिंह टेकाम, खाद्य मंत्री अमरजीत भगत और मुख्य सचिव सुनील कुजूर भी उपस्थित थे।

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