जबलपुर: मध्यप्रदेश हाईकोर्ट ने मंगलवार को अनुकंपा नियुक्ति पर बड़ा फैसला सुनाया है। हाईकोर्ट की तीन जजों की लार्जर बेंच ने अनुकंपा नियुक्ति को लेकर लगाई गई अहम याचिका पर सुनवाई करते हुए कहा है कि पिता की मौत के बाद अब विवाहित बेटी भी अनुकंपा नियुक्ति की हकदार होगी। कोर्ट ने कहा है कि विवाहित बेटी को अनुकम्पा नियुक्ति के लाभ से वंचित रखना गलत है।
दरअसल सतना की मीनाक्षी दुबे के पिता मध्यप्रदेश विद्युत विभाग में लाइनमैन के पद पर पदस्थ थे। नौकरी में रहते मीनाक्षी के पिता की मौत हो गई थी, जिसके बाद उन्होंने राज्य सरकार से अनुकंपा नियुक्ति के लिए अर्जी लगाई थी। मिनाक्षी की अर्जी पर राज्य सरकार ने विवाहित बेटी को अनुकंपा नियुक्ति के लिए अयोग्य मानते हुए निुयक्ति देने से इनकार कर दिया था।
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इसके बाद मिनाक्षी दुबे ने हाईकोर्ट का दारवाजा खटखटाया था। मामले में सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट की लार्जर बेंच ने राज्य सरकार के 12 दिसम्बर 2014 के अनुकम्पा नियुक्ति नियम को असैंवैधानिक करार देते हुए मिनाक्षी दुबे को अनुकंपा नियुक्ति देने का आदेश दिया है।
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