Publish Date - May 2, 2021 / 04:07 PM IST,
Updated On - November 29, 2022 / 08:55 PM IST
राजिम: कोरोना महामारी के चलते 22 दिनों से जारी लॉकडाउन ने बांस उद्योग से जुड़े गोबरा नवापारा के कंडरा आदिवासी परिवारों की आर्थिक कमर तोड़ दी है। ये परिवार अब शासन से आर्थिक मदद की गुहार लगा रहे हैं।
दरअसल कंडरा परिवार बांस से पर्रा, झांपी, सूपा और झाड़ू जैसी सामग्री बनाने का पुश्तैनी काम करते हैं। छत्तीसगढ़ी शादियों में बांस से निर्मित वस्तुओं का विशेष महत्व होता है। शादी सीजन में इन परिवारों को अच्छी-खासी आमदनी हो जाती है। मार्च-अप्रैल के शादी सीजन को ध्यान में रख इन परिवारों ने तैयारी कर ली थी, लेकिन इस वर्ष भी कोरोना के चलते और लॉकडाउन में शादियां नहीं के बराबर हो रही हैं। वहीं लॉकडाउन के कारण इन कंडरा परिवारों को दुकान लगाने की मनाही है। ऐसे में इन परिवारों की मुसीबत बढ़ गई है। इसके चलते इन परिवारों के समक्ष आर्थिक परेशानी खड़ी हो गई है ।