बिलासपुर: पदस्थापना के दौरान दुर्घटना घटित होने बाद थाना प्रभारी के खिलाफ आईजी द्वारा जारी आरोप पत्र पर उच्च न्यायालय ने रोक लगा दी है। याचिकाकर्ता की ओर से वकील ने कोर्ट के समक्ष यह दलील दी कि आरोप पत्र जारी करने का अधिकार केवल पुलिस अधीक्षक को है। मामले पर सुनवाई के बाद कोर्ट ने विभागीय जांच कार्रवाई में किसी भी प्रकार का अंतिम आदेश ना जारी का निर्देश दिया है। साथ ही मामले में पुलिस अधीक्षक दंतेवाड़ा एवं पुलिस महा अधीक्षक बस्तर रेंज को जवाब प्रस्तुत करने का आदेश दिया है। मामले की सुनवाई जस्टिस गौतम भादुरी की सिंगल बेंच द्वारा की गई।
मामला दंतेवाड़ा जिले का है जहां जेपी गुप्ता थाना प्रभारी के पद पर पदस्थ थे। पदस्थापना के दौरान एक दुर्घटना घटित हो जाने के बाद आईजी बस्तर द्वारा उनके खिलाफ आरोप पत्र जारी कर विभागीय जांच शुरू कर दी गई। जिससे क्षुब्ध होकर जेपी गुप्ता ने उच्च न्यायालय में याचिका दाखिल की थी।
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