रायगढ़: लॉक डाउन के बीच पिछले कुछ दिनों से नमक के बाजार से खत्म हो जाने जैसे अफवाहों के चलते नमक की मुनाफाखोरी तथा जमाखोरी की शिकायतें मिल रही थी। राज्य शासन द्वारा ऐसे लोगों पर सख्त कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए थे। जिसके तहत कलेक्टर यशवंत कुमार के निर्देश पर आज प्रशासन की संयुक्त टीम द्वारा रायगढ़ में नमक के थोक एवं चिल्हर व्यापारियों के दुकानों व गोदामों में दबिश देकर नमक को अधिक कीमत पर बेचने व इसकी जमाखोरी करने वाले व्यापारियों पर जुर्माने तथा दुकान सीलबंदी की कार्रवाई की गई।
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राजस्व, पुलिस, खाद्य, नापतौल विभाग तथा नगर निगम के अधिकारियों की संयुक्त टीम ने रणनीति बनाकर शहर के विभिन्न दुकानों पर नमक की बिक्री से जुड़ी अनियमितताएं पकड़ कर कार्रवाई की। जिसके तहत पहले अधिकारी ग्राहक बनकर अलग-अलग दुकानों में नमक खरीदने पहुंचे। थोक व्यापारी सिंघल टे्रडर्स ने नमक उपलब्ध न होने की बात कही। तब अधिकारियों ने उक्त व्यापारी के गोदाम की जांच की, जहां 200 क्ंिवटल नमक जमा मिला। जिस पर उक्त व्यापारी के ऊपर 50 हजार रुपए का जुर्माना लगाते हुए दुकान सील कर दी गई। लालटंकी रोड स्थित संजय प्रोव्हिजन द्वारा नमक उपलब्ध होने के पश्चात भी बेचने से मना करने पर उसके ऊपर 10 हजार रुपए का फाईन लगाकर दुकान सील किया गया। इसके अतिरिक्त कई चिल्हर विक्रेताओं द्वारा नमक को प्रिंट रेट के 50 प्रतिशत से भी अधिक कीमत पर बेचना पाया गया। ऐसा करते पाये जाने पर शहर के नीरज किराना स्टोर्स पर 25 हजार रुपए तथा मनीष किराना स्टोर्स, शारदा टे्रडर्स में प्रत्येक के ऊपर 10-10 हजार रुपए का जुर्माना लगाकर उनकी दुकान सील कर दी गई। भवानी टे्रडर्स को भी अधिक कीमत पर नमक बेचते पाये जाने पर दुकान सीलबंदी की कार्रवाई की गई।
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अधिकारियों से मिली जानकारी अनुसार आगे भी ऐसी कार्रवाई निरंतर जारी रहेगी। कोरोना आपदा के बीच आवश्यक वस्तुओं की जमाखोरी व कालाबाजारी करने वालों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी। इस दौरान एसडीएम युगल किशोर उर्वशा, सीएसपी अविनाश ठाकुर, तहसीलदार अरूण सोम, नगर निगम उपायुक्त पंकज मित्तल, नायब तहसीलदार विक्रांत राठौर, नायब तहसीलदार रूचिका अग्रवाल, फूड इंस्पेक्टर चितरंजन सिंह तथा नापतौल विभाग के डहरिया तथा अन्य अधिकारी-कर्मचारी मौजूद रहे।