प्रिया पांडेय, रायपुर: why Haryana MLAs brought CG राज्यसभा की 2 सीटों पर चुनाव की सियासी जंग में हरियाणा से लेकर दिल्ली और मध्यप्रदेश से लेकर छत्तीसगढ़ तक सियासी पारा चढ़ा हुआ है। क्रॉस वोटिंग के खतरे से निपटने कांग्रेसी विधायक रायपुर में एक सेफ हाउस में डेरा डाले हुए हैं। इनके कॉऑर्डिनेशन की जिम्मेदारी MP के पूर्व CM कमलनाथ की है। हरियाणा कांग्रेस के साथ-साथ दिल्ली में आलाकमान तक इसे मॉनिटर कर रहे हैं। मुद्दे पर भाजपा-कांग्रेस एक दूसरे पर जमकर हमलावर हैं। इतनी लंबी कवायद के बीच, छत्तीसगढ़ विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष का दावा है कि चाहे जितनी कोशिश कर ले कांग्रेस क्रॉस वोटिंग तो होकर रहेगी, क्यों वो ऐसा कह रहे हैं?
Read More: पति के साथ गोवा घूमने आई महिला का समुद्र किनारे रेप, हवालात पहुंचा आरोपी
why Haryana MLAs brought CG 10 जून को 57 सीटों पर राज्यसभा चुनाव होने हैं। चुनाव से पहले विधायकों की बाड़ेबंदी सुर्खियां बटोर रही हैं तो सवाल भी उठ रहे हैं। दरअसल हरियाणा कांग्रेस ने क्रॉस वोटिंग के खतरे को देखते हुए अपने 30 विधायकों को रायपुर शिफ्ट किया है। कांग्रेस विधायक किसी हॉर्स ट्रेडिंग का शिकार न हो हाईकमान ने पूरी ताकत झोंक दी है, लेकिन छत्तीसगढ़ के नेता प्रतिपक्ष धरमलाल कौशिक का दावा है कि कांग्रेस कितनी भी कोशिश कर लें क्रॉस वोटिंग होकर रहेगी।
क्रॉस वोटिंग को लेकर धरमलाल कौशिक कांग्रेस को ही कठघरे में खड़ा कर रहे हैं, लेकिन छत्तीसगढ़ से निर्वाचित राज्यसभा सांसद राजीव शुक्ला ने दो टूक कह दिया कि बीजेपी हरियाणा में अपने मंसूबों में कभी सफल नहीं होगी।
Read More: शैलेश लोढ़ा ने इस वजह ये छोड़ा ‘तारक मेहता का उल्टा चश्मा’, सामने आई तीन बड़ी वजह
राज्यसभा में क्रॉस वोटिंग को लेकर किसके दावे में कितना दम है, ये तो 10 जून को साफ होगा। लेकिन इसे लेकर जारी बयानबाजी ने सियासी पारा हाई कर दिया है। आरोप-प्रत्यारोप से इतर बड़ा सवाल ये भी कि अगर कांग्रेस को क्रॉस वोटिंग का डर नहीं है तो हरियाणा के विधायक छत्तीसगढ़ क्यों लाए गए हैं?