रायपुरः Jogi Congress Will Merge in Congress? छत्तीसगढ़ कांग्रेस में विलय के लिए जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ ने पत्र लिखा है। जेसीसीजे की अध्यक्ष रेणु जोगी और अमित जोगी ने कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे, प्रभारी सचिन पायलट, कांग्रेस अध्यक्ष दीपक बैज और नेता प्रतिपक्ष चरणदास महंत को पत्र लिखा है। पत्र लिखने के बाद रेणु जोगी ने कहा कि मैं शुरुआत से ही अपने को कांग्रेस से जुड़ी मानती हूं। हम निशर्त विलय चाहते हैं। रेणु जोगी ने कहा आज हमें जो भी मिला है वह कांग्रेस के कारण मिला है।
Jogi Congress Will Merge in Congress? वहीं, जोगी कांग्रेस का कांग्रेस में विलय को लेकर पीसीसी अध्यक्ष दीपक बैज से जब सवाल किया गया.. तो उन्होंने कहा कि अभी तक इस तरह की परिस्थितियां नहीं बनी हैं.।परिस्थितियां बनती हैं तो वरिष्ठ नेताओं से बात करेंगे। कांग्रेस में वापसी के लिए प्रदेशभर से आवेदन आ रहे हैं। इस पर कांग्रेस की 7 सदस्यीय कमेटी बैठककर अंतिम निर्णय लेगी।
बता दें कि साल 2014 में हुए बस्तर के अंतागढ़ उपचुनाव में कांग्रेस उम्मीदवार को चुनाव मैदान से हटाने के लिए कथित सौदेबाजी का एक ऑडियो क्लिप वायरल हुआ था। इसमें अजीत और अमित जोगी के शामिल होने के आरोप लगे थे। इसके बाद साल 2016 में कांग्रेसने अमित जोगी को पार्टी से 6 साल के लिए निष्कासित कर दिया जबकि अजीत जोगी को नोटिस दिया गया था। इसके बाद अजीत और अमित जोगी ने नई पार्टी बनाने की कवायद शुरू कर दी।
वहीं, 21 जून 2016 को छत्तीसगढ़ के पहले मुख्यमंत्री अजीत जोगी ने जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ नाम से खुद की पार्टी बनाने का ऐलान किया था। जोगी की लोकप्रियता की वजह से ये माना जा रहा था कि प्रदेश में सरकार बनाने में जोगी कांग्रेस की निर्णायक भूमिका होगी।
जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ (जेसीसीजे) का कांग्रेस में विलय एक लंबे समय से चली आ रही राजनीतिक प्रक्रिया का हिस्सा है। जेसीसीजे की अध्यक्ष रेणु जोगी ने इसे निशर्त विलय के रूप में प्रस्तावित किया है, क्योंकि उनका मानना है कि कांग्रेस से जुड़ने से ही उन्हें राजनीतिक पहचान और अवसर मिले हैं।
कांग्रेस पार्टी ने इस विषय पर अभी कोई आधिकारिक निर्णय नहीं लिया है। पीसीसी अध्यक्ष दीपक बैज ने कहा है कि अगर परिस्थितियां बनती हैं, तो वरिष्ठ नेताओं से बात की जाएगी और एक 7 सदस्यीय कमेटी इस पर अंतिम निर्णय लेगी।
2016 में, कांग्रेस ने अमित जोगी को पार्टी से 6 साल के लिए निष्कासित कर दिया था और अजीत जोगी को नोटिस दिया था, इसके बाद दोनों ने नई पार्टी बनाने का निर्णय लिया। यह कदम बस्तर के अंतागढ़ उपचुनाव के दौरान कथित सौदेबाजी के एक ऑडियो क्लिप के वायरल होने के बाद लिया गया था।
यदि जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ का कांग्रेस में विलय होता है, तो यह छत्तीसगढ़ की राजनीति में एक बड़ा बदलाव हो सकता है। जोगी परिवार की लोकप्रियता को ध्यान में रखते हुए, यह कदम कांग्रेस की स्थिति को मजबूत कर सकता है।
रेणु जोगी ने हमेशा अपने आप को कांग्रेस से जुड़ा हुआ माना है और उन्होंने निशर्त विलय की इच्छा जताई है, क्योंकि उनका मानना है कि जो भी उन्होंने प्राप्त किया है, वह कांग्रेस के कारण ही है।