Reported By: Avinash Pathak
,रायगढ़। Raigarh New: राज्य शासन से अपनी पीठ थपथपाने के लिए रायगढ़ नगर निगम ने गोठानों का निर्माण तो कर दिया लेकिन अब मेंटेनेंस में निगम के पसीने छूट रहे हैं। पंचायत भूमि में निर्माण की वजह से पहले ही शासन ने फंड देने से इंकार कर दिया है। ऐसे में गोठान संचालन करना निगम के लिए टेढी खीर साबित हो रहा है। इस मामले में भाजपा व्यापक भ्रष्टाचार का आरोप लगाते हुए जांच की मांग कर रही है। दरअसल, राज्य शासन ने सभी निकायों को शहरी गोठान निर्माण कर सडकों पर घूम रही गायों का पालन करने का निर्देश दिया था। रायगढ़ नगर निगम ने वाहवाही लूटने के लिए दो जगहों पर शहरी गोठान बनाने की योजना बनाई। योजना के तहत शहर के ट्रांसपोर्ट और शहर से बाहर हमीरपुर में 15 एकड़ की पंचायत भूमि पर गोठान का निर्माण किया गया।
नगरीय क्षेत्र के बाहर किया निर्माण
वहीं नगर निगम ने गोठानों को गो अभ्यारण्य की तर्ज पर बसाने और गोठानों को मल्टी एक्टिविटी सेंटर के रुप में डेवलप करने की योजना बनाई थी। गोठानों के निर्माण के लिए डीएमएफ मद से 60 लाख रुपए खर्च किये गए। लेकिन सरकार रहते रहते ही गोठानों के लिए फंड की दिक्कतें आने लगी। नगर निगम क्षेत्र से बाहर निर्माण होने की वजह से नगरीय निकाय विभाग ने फंड देने से इंकार कर दिया। प्रदेश में सरकार बदलने के बाद अब निगम को फंड के लाले पड़ गए हैं। आलम ये है कि शहर के ट्रांसपोर्टनगर स्थित गोठान जहां कचरा डंपिंग यार्ड में तब्दील हो गया है तो वहीं हमीरपुर में किसी तरह सामाजिक संस्थाओं से चंदे की बदौलत गोठान का संचालन हो रहा है। मामले में भाजपा गोठानों के निर्माण पर भ्रष्टाचार का आरोप लगा रही है।
मेयर ने कही ये बात
Raigarh New: भाजपा का कहना है कि पूर्ववर्ती सरकार में गोठानों के नाम पर भर्राशाही हुई है। पार्षदों के विरोधों के बावजूद नियमों को ताक पर रखकर गोठानों का निर्माण किया गया। अगर मामले की जांच की जाए तो व्यापक गड़बड़ियां उजागर होंगी। इधऱ मामले में मेयर भी फंड की दिक्कतों की बात स्वीकार कर रही है। हालांकि मेयर का कहना है कि गोठान का निर्माण नियम से हुआ है। शहर के अंदर बड़ी जमीन नहीं होने के कारण शहर से बाहर गोठान का निर्माण किया गया था। वर्तमान में जन सहयोग से गोठान का संचालन किया जा रहा है। राज्य शासन से वे गोठान के संचालन के लिए राशि की मांग करेंगी।