रायपुर : Liquor Scam Chhattisgarh : सरगुजा में भरी सभा के दौरान एक वरिष्ठ कांग्रेसी नेता ने अपनी ही पार्टी की पिछली सरकार के दौरान हुए शराब घोटाले का जिक्र छेड़ते हुए पार्टी के जिम्मेदारों को मुश्किल में डाल दिया। जाहिर है इसे कांग्रेस के भीतर अंतर्विरोध माना जा रहा है। बड़ी बात ये कि ये सब सरगुजा संभाग में, अंबिकापुर में हुआ, सो घटना में सिंहदेव कनेक्शन ढूंढा जाने लगा है, क्योंकि ये तो सच है कि गाहे-बगाहे सिंहदेव के बयान पार्टी लाइन से अलग दिखे हैं जिसने पार्टी को असहज स्थिति में डाला है, तो क्या सरगुजा में पार्टी प्रदेश प्रभारियों के सामने जानबूझकर इस बात का जिक्र छेड़कर कोई पुरानी सियासी अदावत निभाई गई, उससे भी बड़ा सवाल ये कि क्या इससे पार्टी को आगामी निकाय चुनाव में नुकसान उठाना पड़ेगा?
अमरजीत भगत भी मौजूद थे। कांग्रेस नेता अजय अग्रवाल के इस बेबाक बयान के बाद से पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल और PCC अध्यक्ष दीपक बैज बचते नजर आए।
Liquor Scam Chhattisgarh : एक सीनियर कांग्रेसी नेता के बेबाक बयान ने बीजेपी को बैठे-बिठाए कांग्रेस को घेरने का बड़ा मौका दे दिया। डिप्टी सीएम अरुण साव ने कहा अब कांग्रेस नेता और प्रभारी को साफ करना चाहिए कि घोटाले का पैसा कहां-कहां गया, कहां खर्च हुआ? तो वहीं कैबिनेट मंत्री केदार कश्यप ने तंज कसा कि कांग्रेस के भीतर की लड़ाई सतह पर आ चुकी है।
ये सच है कि, पिछली कांग्रेस सरकार के वक्त कोल स्कैम, महादेव सट्टा ऐप घोटाला समेत आबकारी घोटाले के आरोप लगाए गए। शराब घोटाले की अब तक की जांच में केंद्रीय एजेंसियों ने कई गड़बड़ियों के सुबूत जुटाए हैं। घोटाले के आरोपी IAS समेत कई लोग इस वक्त जेल में हैं। जिसपर बीजेपी अक्सर पिछली कांग्रेस सरकार को घोटालेबाज सरकार बताते हुए हमला बोलती है। अब ऐन निकाय चुनाव से पहले सीनियर कांग्रेसी नेताओं की शिकवा-शिकायतों से पार्टी पर चौतरफा वार हो रहे हैं। सवाल है क्या पुराने घोटाले का जिक्र जानकर छेड़ा गया, क्या ये इसके पीछे नेताओं की एक-दूसरे को निपटाने वाली पॉलिटिक्स है?