Free coaching initiative for admission in Eklavya Vidyalaya: बीजापुर। न ख्याति पाने की चाह और न ही किसी प्रकार का स्वार्थ। मकसद है तो समाज व देश के लिए कुछ करने का। इस उद्देश्य से पिछड़े आदिवासी इलाकों के बच्चों को नवोदय के अलावा एकलव्य विधालय में दाखिल करने नि:शुल्क कोचिंग की पहल की है। तोयनार आवासीय विधालय के अधीक्षक और उनके दो साथी शिक्षक ने।शिक्षको का मानना है, कि शिक्षा एक ऐसा अस्त्र है जिससे जीवन की बुलंदियों को छुआ जा सकता है। प्रयास है की नक्सल इलाके के बच्चे बुलंदियों को छुएंगे।
जिला मुख्यालय से 20 किमी दूर तोयनार स्थित बालक आवासीय विधालय परिसर में सुबह-शाम दो पालियों में 2 घण्टे की निःशुल्क क्लास की व्यवस्था की गई है। जिसमे आवासीय विधालय के अलावा अन्य इलाकों के बच्चें भी प्रवेश लेकर नवोदय और एकलव्य विधालय प्रवेश परीक्षा की तैयारी कर रहे है। फ्री कोचिंग के साथ यहां बच्चों को निःशुल्क पठन सामग्री के अलावा नाश्ते-भोजन का भी प्रबन्ध है।
इसका मकसद है कि अधिक से अधिक बच्चे नवोदय में चयनित हो। उनमें प्रतिस्पर्धा की भावना आए। प्रतियोगी परीक्षा की महत्ता को समझे। फिलहाल बच्चों को सिलेबस अनुसार पढ़ाया जा रहा है, जिसमें गणित, अंग्रेजी, तर्कशक्ति व अन्य विषय शामिल है। बच्चों की परफॉर्मेंस भी अच्छी है। उम्मीद है कोशिश रंग लाएगी। फिलहाल इस सुविधा का 36 बालक और 16 बालिका निःशुल्क कोचिंग का लाभ ले रहे है। IBC24 से संतोष तिवारी की रिपोर्ट
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