प्रौद्योगिकी का काला पक्ष: एआई-संचालित साइबर हमलों के लिए उन्नत सुरक्षा उपायों की जरूरत

प्रौद्योगिकी का काला पक्ष: एआई-संचालित साइबर हमलों के लिए उन्नत सुरक्षा उपायों की जरूरत

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  • Publish Date - October 6, 2024 / 03:10 PM IST,
    Updated On - October 6, 2024 / 03:10 PM IST

(अदिति कश्यप)

नयी दिल्ली, छह अक्टूबर (भाषा) प्रौद्योगिकी पर तेजी से निर्भर होती दुनिया में साइबर अपराधी तीखे हमलों को अंजाम देने के लिए कृत्रिम मेधा (एआई) का दुरुपयोग कर रहे हैं। उद्योग से जुड़े एक विशेषज्ञ ने कहा कि ऐसे में व्यक्तियों और संगठनों, दोनों के लिए गंभीर खतरे पैदा हो रहे हैं।

स्टार हेल्थ से जुड़ी हाल की गंभीर डेटा उल्लंघन की रिपोर्ट इस खतरनाक प्रवृत्ति का उदाहरण है, जिससे उन्नत साइबर सुरक्षा उपायों की तत्काल जरूरत का पता चलता है।

साइबर सुरक्षा फर्म क्विक हील में एंटीवायरस की रणनीति और उत्पाद संरक्षक प्रमुख स्नेहा काटकर ने पीटीआई-भाषा से कहा कि साइबर अपराध के परिदृश्य में महत्वपूर्ण बदलाव आया है।

उन्होंने कहा, ‘‘आज साइबर अपराधी हमलों को स्वचालित करने के लिए एआई का इस्तेमाल कर रहे हैं। वे इन हमलों को अंजाम देने के लिए कृत्रिम मेधा का उपयोग कर रहे हैं। यह काम इतनी सफाई से किया जाता है कि बेहद समझदार लोग भी इसका शिकार हो जाते हैं।’’

उन्होंने कहा कि यह स्वचालन उन्हें पारंपरिक सुरक्षा उपायों से बचने की गुंजाइश देता है, जिससे सबसे मजबूत प्रणालियों के लिए भी ऐसे खतरों से बचाव करना चुनौतीपूर्ण हो जाता है।

काटकर ने कहा कि स्टार हेल्थ में हाल में हुआ डेटा उल्लंघन डिजिटल बुनियादी ढांचे में मौजूद कमजोरियों की याद दिलाता है।

काटकर ने कहा कि जब भी ऐसे उल्लंघन हों, कंपनियों को अपने उपभोक्ताओं को इस बारे में बताना चाहिए।

भाषा पाण्डेय अजय

अजय