RBI Monetary Policy: नई दिल्ली। रिजर्व बैंक ने वित्त वर्ष 2022-23 की पहली क्रेडिट पॉलिसी जारी कर दी है और इसमें आरबीआई के गवर्नर शक्तिकांत दास ने कहा है कि जियो पॉलिटिकल तनावों का असर कई अर्थव्यवस्थाओं पर आ रहा है। भारत के ऊपर भी रूस-यूक्रेन युद्ध का असर आ सकता है और हमारे आर्थिक विकास पर निगेटिव असर आ सकता है, लिहाजा भारत के लिए ये चुनौतीपूर्ण समय है।
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RBI Monetary Policy: रेपो रेट 4 फीसदी पर बरकरार रखा- रिवर्स रेपो रेट में बदलाव
रिजर्व बैंक ने आज अपनी मौद्रिक नीति समीक्षा में नीतिगत दरों में कोई बदलाव नहीं किया है और रेपो रेट को 4 फीसदी पर बरकरार रखा है। इसके अलावा रिवर्स रेपो रेट को भी 3.35 फीसदी पर बरकरार रखा है। इसके अलावा कैश रिजर्व रेश्यो भी 4 फीसदी पर बरकरार रखा है। बता दें कि ये लगातार 11वीं मौद्रिक नीति है जिसमें आरबीआई ने दरों में कोई बदलाव नहीं किया है। इसमें मार्जिनल स्टैंडिंग फैसिलिटी रेट 4।25 फीसदी पर रखा गया है और बैंक भी रेट भी 4।25 फीसदी पर रखा गया है। वहीं रिसर्व रेश्यों की बात की जाए तो कैश रिजर्व रेश्यो (CRR) को 4 फीसदी पर बरकरार रखा गया है और SLR को 18 फीसदी पर रखा गया है।
रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास ने अपने संबोधन में कहा कि देश में महंगाई दर में बढ़ोतरी का अनुमान है और नीतिगत दरों को लेकर आरबीआई का अकोमडेटिव रुख बरकरार है। इस साल मानसून सामान्य रहने का अनुमान है। रिटेल महंगाई दर के वित्त वर्ष 2022-23 में 5।7 फीसदी पर आने का अनुमान रखा गया है। वहीं अप्रैल-जून 2022 के लिए रिटेल महंगाई का अनुमान 6।3 फीसदी रहने का अनुमान लगाया गया है। इसके अलावा जुलाई-सितंबर तिमाही में रिटेल महंगाई दर का अनुमान 5 फीसदी पर रखा गया है जबकि अक्टूबर-दिसंबर के लिए रिटेल महंगाई दर के 5।4 फीसदी पर रहने का अनुमान है। इसके साथ वित्त वर्ष 2023 की आखिरी तिमाही यानी जनवरी-मार्च के दौरान महंगाई दर 5।1 फीसदी पर रहने का अनुमान है।
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मनी मार्केट खुलने का नया समय
आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने कहा कि 18 अप्रैल से मनी मार्केट खुलने का समय सुबह 9 बजे होगा और ये 9 बजे खुला करेगा।
6 अप्रैल से 8 अप्रैल के बीच हुई एमपीसी की बैठक
बता दें कि 6 अप्रैल से 8 अप्रैल के बीच मौद्रिक नीति समीक्षा की बैठक हुई है और इसमें देश की जीडीपी ग्रोथ, महंगाई दर समेत कई मुद्दों पर एमपीसी के सदस्यों के मत के आधार पर फैसले लिए गए हैं।
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वित्त वर्ष 2023 के लिए रियल जीडीपी ग्रोथ अनुमान 7.8 फीसदी से घटाकर 7.2 फीसदी पर रखा गया है और वित्त वर्ष 2023 की चौथी तिमाही का जीडीपी ग्रोथ अनुमान 4 फीसदी पर रखा गया है। आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने ये भी कहा कि शेयर बाजार में अनिश्चितता बरकरार रह सकती है।