नयी दिल्ली, दो दिसंबर (भाषा) भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने सोमवार को बैंकों से कहा कि वे आवश्यक कदम उठाकर निष्क्रिय या ‘फ्रीज’ किए गए खातों की संख्या को ‘तत्काल’ कम करें और तिमाही आधार पर इनकी संख्या के बारे में भी जानकारी दें।
ऐसे खातों में पड़ी धनराशि की बढ़ती मात्रा पर चिंता व्यक्त करते हुए आरबीआई ने कहा कि उसके पर्यवेक्षी निरीक्षणों से कई समस्याओं का पता चला है, जिसके कारण खाते निष्क्रिय हो रहे हैं या ‘फ्रीज’ हो रहे हैं।
आरबीआई के पर्यवेक्षण विभाग ने हाल ही में एक विश्लेषण किया, जिसमें पता चला कि कई बैंकों में निष्क्रिय खातों/ बिना दावा किए गए जमा की संख्या उनकी कुल जमा राशि के साथ-साथ निरपेक्ष रूप से भी अधिक थी।
सभी बैंकों के प्रमुखों को जारी अधिसूचना में कहा गया, “बैंकों को निष्क्रिय/जमा किए गए खातों की संख्या में कमी लाने और ऐसे खातों को सक्रिय करने की प्रक्रिया को आसान और परेशानी मुक्त बनाने के लिए तत्काल आवश्यक कदम उठाने की सलाह दी जाती है।”
इसमें सुझाव दिया गया है कि बैंक मोबाइल/इंटरनेट बैंकिंग, विभिन्न शाखाओं और वीडियो ग्राहक पहचान प्रक्रिया के माध्यम से केवाईसी (अपने ग्राहक को जानो) के निर्बाध अद्यतन को सक्षम करने पर विचार कर सकते हैं।
भाषा अनुराग रमण
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