‘जेनरेटिव’ कृत्रिम मेधा का देश में नौकरियों पर पड़ने वाला असर अबतक साफ नहीं: नैसकॉम उपाध्यक्ष

‘जेनरेटिव’ कृत्रिम मेधा का देश में नौकरियों पर पड़ने वाला असर अबतक साफ नहीं: नैसकॉम उपाध्यक्ष

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  • Publish Date - August 22, 2023 / 07:07 PM IST,
    Updated On - August 22, 2023 / 07:07 PM IST

नयी दिल्ली, 22 अगस्त (भाषा) नैसकॉम की वरिष्ठ उपाध्यक्ष और मुख्य रणनीति अधिकारी संगीता गुप्ता ने कहा है कि लिखने-पढ़ने समेत विभिन्न प्रकार की सामाग्री तैयार करने में सक्षम कृत्रिम मेधा (जेनरेटिव एआई) से नौकरियों पर पड़ने वाला असर अभी साफ नहीं है और इसके प्रभाव के बारे में आने वाले समय पर ही पता चलेगा। इतना जरूर है कि यह नौकरियां कम करने के बजाय उनकी भूमिकाओं में जरूर बदलाव लाएगा।

प्रौद्योगिकी और गैर-प्रौद्योगिकी उद्योग में स्वचालन के कारण कई नौकरियां जाने के बीच उन्होंने यह बात कही।

नैसकॉम के सालाना प्रौद्योगिकी सम्मेलन के दौरान अलग से बातचीत में संगीता गुप्ता ने ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा, ‘‘जेनरेटिव एआई भारत में नौकरियों को कैसे प्रभावित करेगा यह अभी साफ नहीं है… हमारा मानना ​​है कि यह नौकरियां कम करने के बजाय भूमिकाओं में बदलाव का जरिया बनेगा।’’

देश के बाहर काम कर रहे और घरेलू बाजार की जरूरतों को पूरा कर रहे स्टार्टअप को भारत लाने के नैसकॉम के प्रयास के बारे में उन्होंने कहा कि यहां कारोबार करने में सुगमता को लेकर चिंता और निवेशकों की रुचि के कारण कई स्टार्टअप विदेशों में स्थित हैं।

नैसकॉम की वरिष्ठ उपाध्यक्ष ने कहा कि हम इनमें से कुछ मुद्दों को हल करने और भारत में अधिक-से-अधिक स्टार्टअप के पनपने तथा यहां उनके काम करने को लेकर कराधान नीतियों और ईएसओपी (कर्मचारी शेयर स्वामित्व योजना) नीतियों पर सरकार के साथ काम कर रहा है।

उन्होंने यह भी कहा कि अच्छे तकनीकी कौशल वाले लोगों के लिए अवसर मौजूद हैं।

नैसकॉम और ईवाई ने मंगलवार को एक रिपोर्ट जारी की। इसमें प्रौद्योगिकी उद्योग में शीर्ष तीन चुनौतियों के रूप में प्रतिभा, निवेश और प्रासंगिक बुनियादी ढांचे की उपलब्धता का जिक्र किया गया है।

भाषा रमण अजय

अजय