एफपीआई को मौजूदा कराधान व्यवस्था के साथ रहना चाहिए: सेबी प्रमुख

एफपीआई को मौजूदा कराधान व्यवस्था के साथ रहना चाहिए: सेबी प्रमुख

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  • Publish Date - March 22, 2025 / 08:36 PM IST,
    Updated On - March 22, 2025 / 08:36 PM IST

मुंबई, 22 मार्च (भाषा) बाजार नियामक सेबी के चेयरमैन तुहिन कांत पांडेय ने शनिवार को कहा कि मौजूदा कराधान व्यवस्था को अस्थिर करने का कोई मतलब नहीं है और विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों (एफपीआई) को इसके साथ रहना चाहिए।

तीन सप्ताह पहले सेबी प्रमुख का पद संभालने वाले पांडेय ने यह भी कहा कि कुछ कंपनियां बेहद गलत खुलासे कर रही हैं और पूंजी बाजार नियामक ऐसी गड़बड़ियों के खिलाफ कार्रवाई करने में संकोच नहीं करेगा।

कराधान के मुद्दे पर, पांडेय ने कई फायदे गिनाए जो भारत में मिलते हैं। इन फायदों में बेहतर प्रतिफल, स्थिर नीतिगत माहौल और मुद्रास्फीति को नियंत्रण में रखना शामिल है।

उन्होंने यहां बिजनेस टुडे के एक कार्यक्रम में कहा, ”अगर कराधान के मामले में कुछ निश्चितताएं आ चुकी हैं, तो हमें इसे और अस्थिर नहीं करना चाहिए।”

पांडेय ने कहा कि भारत ने पिछले पांच वर्षों में एमएससीआई सूचकांक पर 11 प्रतिशत सालाना से अधिक का प्रतिफल दिया है। उन्होंने कहा कि यहां स्थिर मुद्रास्फीति है, राजकोषीय स्थिति सुदृढ़ है और भारत सबसे तेजी से बढ़ती बड़ी अर्थव्यवस्था है।

उन्होंने कहा कि खपत बढ़ रही है और सरकार तथा निजी कंपनियों, दोनों के पूंजी निर्माण में तेजी आई है।

भाषा पाण्डेय

पाण्डेय