नयी दिल्ली, आठ दिसंबर (भाषा) चालू वित्त वर्ष में असम और मिजोरम जैसे पूर्वोत्तर के राज्यों में मादक पदार्थ मेथामफेटामाइन की जब्ती में वृद्धि हुई है। राजस्व खुफिया निदेशालय (डीआरआई) ने अप्रैल-सितंबर के दौरान 123 किलोग्राम मेथामफेटामाइन जब्त किया है।
मेथामफेटामाइन, जिसे ‘आइस’ या ‘क्रिस्टल मेथ’ के रूप में भी जाना जाता है, भारत में कानून प्रवर्तन एजेंसियों के लिए एक महत्वपूर्ण चुनौती बन गया है। पूर्वोत्तर के राज्यों में इसका खासतौर से असर देखने को मिल रहा है।
डीआरआई की एक रिपोर्ट के अनुसार, तस्करी की जांच से संकेत मिलता है कि मेथामफेटामाइन को अंडमान सागर और बंगाल की खाड़ी में समुद्री मार्गों के माध्यम से अवैध रूप से भारत में लाया जा रहा है।
तस्करी के लिए, नशीली दवाओं को रामेश्वरम, तूतीकोरिन और नागपट्टिनम जैसे तटीय इलाकों में बसों, ट्रेनों या कारों में विशेष रूप से तैयार किए गए डिब्बों में छुपाकर लाया जाता है।
वित्त वर्ष 2024-25 की पहली छमाही में डीआरआई ने 11 मामलों में 123 किलोग्राम मेथामफेटामाइन जब्त किया। वित्त वर्ष 2023-24 की पूरी अवधि में आठ मामलों में 136 किलोग्राम मेथामफेटामाइन जब्त किया गया। इससे पता चलता है कि इस मादक पदार्थ की तस्करी बढ़ रही है।
डीआरआई की पिछली रिपोर्ट के अनुसार 136 किलोग्राम मेथामफेटामाइन की अवैध बाजार में कीमत 274.75 करोड़ रुपये है।
भाषा पाण्डेय
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