बजट राजकोषीय मजबूती के मार्ग पर अग्रसर, आम आदमी के हितों पर ध्यान: उद्योग जगत

बजट राजकोषीय मजबूती के मार्ग पर अग्रसर, आम आदमी के हितों पर ध्यान: उद्योग जगत

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  • Publish Date - July 23, 2024 / 07:15 PM IST,
    Updated On - July 23, 2024 / 07:15 PM IST

नयी दिल्ली, 23 जुलाई (भाषा) उद्योग जगत ने मंगलवार को पेश बजट 2024-25 को आम आदमी के हितों पर ध्यान केंद्रित करते हुए राजकोषीय मजबूती के मार्ग पर अग्रसर बताने के साथ ही कहा कि इसमें भारतीय निवेशकों के लिए कुछ और कदम उठाए जा सकते थे।

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने लोकसभा में वित्त वर्ष 2024-25 का बजट पेश किया। यह मोदी सरकार के तीसरे कार्यकाल का पहला बजट है।

हिंदुजा ग्रुप ऑफ कंपनीज (इंडिया) के चेयरमैन अशोक हिंदुजा ने कहा, “बजट से पता चलता है कि मोदी सरकार का इस कार्यकाल में लक्ष्य राजकोषीय सुदृढ़ीकरण की राह पर आगे बढ़ना है। कृषि क्षेत्र और किफायती एवं शहरी आवासीय अवसंरचना पर ध्यान केंद्रित करना ठोस कदम है और यह एक शुभ संकेत है।”

आरपीजी एंटरप्राइजेज के चेयरमैन हर्ष गोयनका ने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर कहा, “भारतीय टीम के विश्व कप जीतने के बाद वित्त मंत्री ने आम आदमी के हितों पर ध्यान केंद्रित करते हुए टीम इंडिया के लिए मैच जीतने वाला बजट पेश किया। एक अनुभवी कप्तान के नेतृत्व में सावधानीपूर्वक, विस्तृत और अच्छी तरह शोध से बनाया बजट देश की नब्ज को दर्शाता है।”

उद्योग मंडल सीआईआई के महानिदेशक चंद्रजीत बनर्जी ने कहा कि यह बजट “समावेश के साथ वृद्धि तेज करने के लिए भारत की सफल समग्र आर्थिक रणनीति को निरंतरता प्रदान करता है। यह निवेश और सुधारों की अगुवाई में तथा समावेशन एवं सशक्तिकरण पर केंद्रित सरकार के पिछले दो कार्यकालों की सफल आर्थिक रणनीति को आगे बढ़ाता है।”

पीएचडी चैम्बर्स ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री ने कहा कि यह बजट विकासोन्मुख और समावेशी है। इसमें घोषित अनेक उपाय ‘विकसित भारत’ की दिशा में भारत की यात्रा को मजबूती प्रदान करेंगे।

हालांकि होटल एवं रेस्तरां निकाय एफएचआरएआई के अध्यक्ष प्रदीप शेट्टी ने होटल क्षेत्र के लिए बजट में कोई विशेष उपाय न किए जाने पर निराशा जताई। उन्होंने कहा, “वैश्विक प्रतिस्पर्धी व्यवस्था में मूलभूत चुनौतियों का समाधान करने के लिए संरचनात्मक बदलाव लाने तथा 2047 तक इस क्षेत्र के विकास को गति देकर इसे तीन लाख करोड़ डॉलर की अर्थव्यवस्था बनाने के लिए बजट में कुछ भी खास नहीं है।”

वाहन निर्माता कंपनियों के संगठन सियाम के अध्यक्ष विनोद अग्रवाल ने कहा कि भारतीय वाहन उद्योग कई बजट घोषणाओं, खासकर अगले पांच वर्षों में बुनियादी ढांचे के लिए मजबूत राजकोषीय समर्थन के साथ आर्थिक वृद्धि पर निरंतर जोर देने का स्वागत करता है।

गोदरेज कंज्यूमर प्रोडक्ट्स लिमिटेड (जीसीपीएल) के मुख्य वित्तीय अधिकारी आसिफ मालबारी ने कहा कि बजट में जमीनी स्तर पर भारत के व्यापक आर्थिक के समग्र विकास का वादा किया गया है।

इमामी समूह के निदेशक आदित्य वी अग्रवाल ने कहा कि इस समग्र बजट में समाज के सभी वर्गों के लिए समान अवसर मुहैया कराए गए हैं। नई कर व्यवस्था के तहत प्रत्यक्ष कर में छूट और सुधारों की पहल सतत विकास और सशक्तिकरण की दिशा में हैं।

भारत चैंबर ऑफ कॉमर्स के अध्यक्ष एन जी खेतान ने कहा कि बजट एमएसएमई क्षेत्र में शिक्षा, कौशल और विनिर्माण के माध्यम से युवाओं के सामने आने वाली समस्याओं के समाधान के लिए सरकार की प्रतिबद्धता को रेखांकित करता है।

खुदरा विक्रेताओं के संगठन रिटेलर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया (आरएआई) के सीईओ कुमार राजगोपालन ने कहा, “सरकार ने लोकलुभावन और नीतिगत उपायों के बीच संतुलन साधने की कोशिश की है। किसानों के लिए मौद्रिक सहायता, व्यक्तिगत आयकर में छूट की बढ़ी सीमा और बढ़ी हुई मानक कटौती जैसी पहलों से खर्च-योग्य अधिक आमदनी रहेगी, जिससे खर्च में वृद्धि होगी।”

उद्योग मंडल एसोचैम की एमएसएमई काउंसिल ईस्ट के चेयरमैन अखिलेश जैन ने कहा कि सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यमों को 100 करोड़ रुपये तक के सावधि ऋण के लिए ऋण गारंटी योजना की बजटीय घोषणा से इस क्षेत्र की वृद्धि में मदद मिलेगी।

टीमलीज डिग्री अप्रेंटिसशिप के सीईओ रमेश अल्लूरी रेड्डी ने कहा कि रोजगार सृजन पर नए सिरे से जोर दिया जाना सराहनीय है। बजट में कौशल विकास कार्यक्रमों पर काफी जोर दिया गया है और उद्योगों को व्यापक प्रशिक्षुता अपनाने के लिए प्रोत्साहित किया गया है।

भाषा

अनुराग प्रेम

प्रेम