(ललित के. झा)
वाशिंगटन, 25 जुलाई (भाषा) भारतीय सरकार के केंद्रीय बजट 2024-25 में एंजल कर हटाने के प्रस्ताव का सिलिकॉन वैली के शीर्ष उद्यमियों तथा उद्यम समूहों ने स्वागत किया है।
टीआईई सिलिकॉन वैली की अध्यक्ष अनीता मनवानी ने ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा, ‘‘ मुझे लगता है कि (एंजेल कर हटाना) निश्चित रूप से एक बेहतरीन कदम है। वित्त मंत्री (निर्मला) सीतारमण से कभी कम की उम्मीद नहीं की जा सकती…वह हमेशा इस बात पर गौर करती हैं कि देश के लिए क्या महत्वपूर्ण है, वृद्धि को बढ़ावा देने के लिए क्या जरूरी है।’’
एंजल कर (30 प्रतिशत से अधिक की दर से आयकर) का मतलब वह आयकर है जो सरकार गैर-सूचीबद्ध कंपनियों या स्टार्टअप द्वारा जुटाई गई धनराशि पर लगाती है, यदि उनका मूल्यांकन कंपनी के उचित बाजार मूल्य से अधिक है।
एंजल कर समाप्त करने का कई अन्य व्यापार और व्यवसाय वकालत समूहों द्वारा भी स्वागत किया गया है।
यूएस इंडिया स्ट्रेटेजिक एंड पार्टनरशिप फोरम ने कहा कि सभी निवेशक वर्गों के लिए एंजल कर हटाना एक ऐतिहासिक सुधार है जो भारत के स्टार्टअप परिवेश को लाभ पहुंचाएगा। यह महत्वपूर्ण सुधार घरेलू तथा अंतरराष्ट्रीय दोनों स्रोतों से स्टार्टअप कोष को बढ़ावा देगा।
यूएस इंडिया बिजनेस काउंसिल ने कहा, ‘‘ एंजल कर को समाप्त करने से द्विपक्षीय प्रौद्योगिकी सहयोग और नवाचार के समक्ष आने वाली बाधा दूर होगी ।’’
यूएसए इंडिया चैंबर ऑफ कॉमर्स के अध्यक्ष करुण ऋषि ने ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा, ‘‘ एंजल कर हटाना भारत में स्टार्टअप परिवश के लिए एक ऐतिहासिक फैसला है। यह एक बेहद जरूरी सुधार है। यह साहसिक कदम भारत में एक अधिक जीवंत स्टार्टअप परिवेश को बढ़ावा देगा, जिससे नवाचार, रोजगार सृजन तथा प्रतिस्पर्धा में वृद्धि होगी।’’
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