नयी दिल्ली, चार नवंबर (भाषा) वायु गुणवत्ता के खतरनाक स्तर तक गिरने के कारण एयर प्यूरीफायर की मांग में जोरदार उछाल आया है। विशेष रूप से दिल्ली-एनसीआर में वायु गुणवत्ता की स्थिति काफी खराब हुई है।
केंट आरओ सिस्टम्स, शाओमी और एलजी इलेक्ट्रॉनिक्स इंडिया सहित अन्य कंपनियों ने कहा कि त्योहारी मौसम में एयर प्यूरीफायर की बिक्री में 50 प्रतिशत तक की वृद्धि हुई है क्योंकि दिल्ली और आसपास के इलाकों का वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) खतरनाक स्तर की ओर बढ़ गया है।
पिछले साल की तरह उपकरण निर्माताओं ने पिछले 2-3 सप्ताह में एयर-प्यूरीफायर की बिक्री और पूछताछ में वृद्धि देखी है और आने वाले हफ्तों में एक्यूआई में वृद्धि के साथ इसमें और तेजी आने की उम्मीद है।
एयर प्यूरीफायर उपकरण बाजार का एक बहुत छोटा खंड है और इसकी बिक्री आमतौर पर अक्टूबर और नवंबर में चरम पर होती है।
एलजी इलेक्ट्रॉनिक्स इंडिया के वरिष्ठ उपाध्यक्ष- होम अप्लायंसेज संजय चितकारा ने कहा, ‘‘दिल्ली में प्रदूषण का सबसे खराब दौर चल रहा है, ऐसे में दिल्ली एनसीआर में एयर प्यूरीफायर की मांग अचानक बढ़ गई है।’’ केंट आरओ सिस्टम के चेयरमैन एवं प्रबंध निदेशक महेश गुप्ता ने कहा कि भारत में सर्दियों के महीनों के दौरान एयर प्यूरीफायर और फ़िल्टर की बिक्री में उल्लेखनीय वृद्धि देखी गई, जो हवा की गुणवत्ता में गिरावट के साथ मेल खाता है।
उन्होंने कहा कि प्रदूषण का खतरनाक स्तर उपभोक्ताओं के बीच अपने स्वास्थ्य की रक्षा करने की तत्काल आवश्यकता की भावना पैदा करते हैं। उन्होंने कहा, ‘‘त्योहारों के मौसम के दौरान हम बिक्री में लगभग 20-25 प्रतिशत की उल्लेखनीय वृद्धि देखते हैं क्योंकि उपभोक्ता घर के अंदर की वायु गुणवत्ता और अपने समग्र स्वास्थ्य के बारे में अधिक जागरूक हैं।’’
शाओमी ने कहा कि बढ़ते प्रदूषण स्तर के बीच विशेष रूप से उत्तरी क्षेत्र में, उपभोक्ता व्यवहार में उल्लेखनीय बदलाव आया है, जिसमें स्वास्थ्य और स्वच्छ ‘इनडोर’ वातावरण पर अधिक ध्यान दिया जा रहा है। कंपनी के प्रवक्ता ने कहा, ‘‘इससे हमारे एयर प्यूरीफायर और एयर प्यूरीफायर फिल्टर की बिक्री में तेज़ वृद्धि हुई है। पिछले महीने की तुलना में यह 50 प्रतिशत अधिक रही है।’’
ईएमआर की एक रिपोर्ट के अनुसार, भारत में एयर प्यूरीफायर का बाजार वर्ष 2023 में 777.75 करोड़ रुपये का हो गया। इसमें कहा गया है कि 2024 और 2032 के बीच इस बाजार के सालाना 16.30 प्रतिशत की दर से बढ़ने का अनुमान है।
भाषा राजेश अजय राजेश
अजय