Nandkumar sai MP connection

छत्तीसगढ़ के कद्दावर नेता नंदकुमार साय का मध्य प्रदेश से है गहरा और पुराना नाता, दोनों राज्यों पर पड़ेगा दल बदल का असर

Nandkumar sai MP connection: हाल ही में बीजेपी छोड़ कांग्रेस का दामन थामने वाले नंदकुमार साय का है मध्य प्रदेश से पुराना और गहरा नाता

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Modified Date: May 5, 2023 / 01:07 PM IST
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Published Date: May 5, 2023 12:27 pm IST

Nandkumar sai MP connection: भोपाल।(अंजली सिंह) मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़ और राजस्थान में इस साल के अंत मे विधानसभा चुनाव होना तय है। चुनाव से पहले सियासी रंग में रंगे प्रदेशों में सियासी उठा पटक जारी है। इसी बीच नेताओं का दल बदल का दौर भी चल रहा है। अपनी पार्टी और नेतृत्व से नाराज चल रहे नेता दूसरी पार्टी का दामन थाम कर आगामी चुनाव में अपनी किस्मत आजमाना चाहते है। लेकिन देखना यह होगा कि दूसरी पार्टी से आए निताओं को आगामी चुनाव में कितनी तबज्जो दी जाती है। उधर, पार्टी अपने ही नाराज चल रहे नेताओं को मनाने में जुटी हुई है।

Nandkumar sai MP connection: इसी बीच हाल ही में छत्तीसगढ़ में बीजेपी को करारा झटका लगा है। पार्टी के दिग्गज नेता नंदकुमार साय ने प्रदेश की सत्ताधर पार्टी कांग्रेस का रुख किया है। पार्टी के सीनियर नेता का चुनावी साल में कांग्रेस का दामन थामना बीजेपी के लिए खासी परेशानी खड़ी कर सकता है। उधर कांग्रेस को इस चुनाव में काफी फायदा मिलेगा। नंदकुमार साए पार्टी के वरिष्ठ और दिग्गज नेताओं में से एक है। इतना ही नहीं नंदकुमार साए का नाम उन नेताओं में शुमार है जो अविभाजित मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ की राजनीति कर चुके हैं।

Nandkumar sai MP connection: नंदकुमार साए का छत्तीसगढ़ के अलावा पड़ोसी राज्य मध्यप्रदेश से गहरा और पुराना नाता है। अविभाजित मध्यप्रदेश छत्तीसगढ़ में नंदकुमार साय ने बीजेपी की कमान संभाली है। साल 1997 से 2000 तक साय बीजेपी प्रमुख रहे हैं। उस समय मध्यप्रदेश में कांग्रेस के मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह थे। नवंबर 2000 में मध्य प्रदेश से अलग होकर छत्‍तीसगढ़ राज्य गठन के समय पार्टी ने नंदकुमार साय को नेता प्रतिपक्ष की जिम्मेदारी दी थी। केंद्र में मोदी सरकार बनने के बाद साय को 2017 में राष्ट्रीय अनुसूचित जनजाति आयोग (एनसीएसटी) का अध्यक्ष भी बनाया गया था।

Nandkumar sai MP connection: दो बार के लोकसभा सांसद और तीन बार के विधायक साय पूर्व में छत्तीसगढ़ और अविभाजित मध्य प्रदेश दोनों में पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष रह चुके हैं। बीजेपी के एक प्रमुख आदिवासी चेहरा और उत्तरी छत्तीसगढ़ से ताल्लुक रखने वाले साय पहली बार 1977 में मध्य प्रदेश में तपकरा सीट (अब जशपुर जिले) से जनता पार्टी के विधायक चुने गए थे। वह 1980 में बीजेपी की रायगढ़ जिला इकाई के प्रमुख चुने गए। जिसके बाद वह 1985 में तपकरा से बीजेपी विधायक चुने गए थे। वह 1989, 1996 और 2004 में रायगढ़ से लोकसभा सदस्य और 2009 और 2010 में राज्यसभा सदस्य चुने गए। साय 2003 से 2005 तक छत्तीसगढ़ बीजेपी अध्यक्ष और 1997 से 2000 तक मध्य प्रदेश बीजेपी प्रमुख रह चुके है।

Nandkumar sai MP connection: उधर, नंदकुमार साय के बगावत करने के बाद छत्तीसगढ़ सहित मध्य प्रदेश के कई नेता भी दल बदल का राग अलाप रहे है। एमपी में वर्तमान में बीजेपी की सरकार है लेकिन बीजेपी के ही कई कद्दावर नेता पार्टी से नाराज चल रहा है। ऐसे में कई नेताओं ने तो बगावती रोग अलापना भी चालू कर दिया है। पार्टी से मोह भंग होने के चलते अब नेता चुनाव से पहले दूसरी पार्टियों का रुख कर रहें है। माना जा रहा है कि नंदकुमार साय के पार्टी बदलने के बाद एमपी में भी कई नेता बीजेपी का साथ छोड़ कांग्रेस को मजबूती देने के लिए कांग्रेस ज्वाइन करेंगे। लेकिन आने वाले समय में इन दलबदलू नेताओं के हाथ क्या लगता है ये तो आने वाले विधानसभा चुनाव ही बताएगा।

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