बिहार विधानसभा में शीतकालीन सत्र के अंतिम दिन प्रीपेड मीटर के मुद्दे पर हंगामे से कार्रवाई बाधित |

बिहार विधानसभा में शीतकालीन सत्र के अंतिम दिन प्रीपेड मीटर के मुद्दे पर हंगामे से कार्रवाई बाधित

बिहार विधानसभा में शीतकालीन सत्र के अंतिम दिन प्रीपेड मीटर के मुद्दे पर हंगामे से कार्रवाई बाधित

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Modified Date: November 29, 2024 / 02:36 PM IST
Published Date: November 29, 2024 2:36 pm IST

पटना, 29 नवंबर (भाषा) बिहार विधानसभा के शीतकालीन सत्र के अंतिम दिन शुक्रवार को विपक्षी सदस्यों के प्रीपेड बिजली मीटर वापस लेने की मांग को लेकर सदन के बीचों-बीच आकर हंगामा किये जाने पर सदन की कार्यवाही करीब आधे दिन बाधित रही।

विपक्षी सदस्यों ने बाद में संवाददाताओं से बात करते हुए आरोप लगाया कि सदन अध्यक्ष नंद किशोर यादव, “केवल 10 मिनट” के स्थगन का आदेश दे सकते थे, पर उन्होंने “सरकार को बचाने के लिए” दोपहर के भोजन के बाद तक कार्यवाही स्थगित करने का विकल्प चुना।

हंगामे के कारण बैठक दोपहर दो बजे तक स्थगित कर दी गई थी।

कांग्रेस विधायक अजीत शर्मा ने प्रश्नकाल के दौरान इस मुद्दे को उठाते हुए कहा कि स्मार्ट प्रीपेड बिजली मीटर लोगों के लिए परेशानी का सबब बन गया है। उन्होंने कहा कि बिजली बिल इतना अधिक आ रहा है कि न केवल गरीब बल्कि मध्यम वर्ग के लोगों को भी इसका खर्च वहन करना मुश्किल हो रहा है।

उन्होंने यह भी कहा “सदन को ऐसे मीटर लगाने में हुई किसी भी अनियमितता की गहन जांच करने और उचित कार्रवाई का सुझाव देने के लिए एक समिति गठित करनी चाहिए।”

भाकपा (माले) विधायक दल के नेता महबूब आलम ने कहा, ‘अध्यक्ष ने सदन की कार्यवाही दोपहर 2 बजे तक क्यों स्थगित की? अगर उनका इरादा व्यवस्था बहाल करने का था तो वे 10 मिनट के लिए ऐसा कर सकते थे। ऐसा लगता है कि उन्होंने प्रीपेड मीटर के मुद्दे पर कटघरे में आई सरकार को बचाने के लिए ऐसा किया है।’

उन्होंने कहा, ‘प्रीपेड मीटर दागी आईएएस अधिकारी संजीव हंस के कार्यकाल के दौरान शुरू किए गए थे, जो अब जेल में हैं और ईडी की जांच का सामना कर रहे हैं। ऐसे में ऐसे सभी मीटरों को तुरंत वापस ले लिया जाना चाहिए अन्यथा, बिजली मंत्री बिजेंद्र यादव पर भ्रष्ट रैकेट में मिलीभगत का संदेह होगा।’

विपक्षी सदस्य यादव के तंज से स्पष्ट रूप से नाराज थे, जिन्होंने सदन के अंदर कहा था, ‘जब तक आप हमारे साथ सत्ता में थे, तब तक आप सभी स्मार्ट मीटर के साथ ठीक थे। लेकिन सत्ता से बाहर होने के बाद, आप सभी ने अपनी राय बदल ली है।’

राजद विधायक भाई वीरेंद्र के साथ मौजूद आलम ने भी कहा, ‘हम इस मुद्दे को उठाते रहेंगे। आज शीतकालीन सत्र का आखिरी दिन हो सकता है, लेकिन हम सड़कों पर उतरने जा रहे हैं। हम अपनी मांग, जो वास्तव में बिहार के लोगों की मांग है, पर जोर देने के लिए राज्यव्यापी बंद का आह्वान करेंगे।

भाषा अनवर मनीषा

मनीषा

 

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