Chunavi Chaupal in Vidisha : मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ की लिहाज से साल 2023 बेहद महत्वपूर्ण रहने वाला है। इस साल दोनों राज्यों में विधाससभा चुनाव होने वाला है। लिहाजा अब राजनीतिक पार्टियां इन दोनों राज्यों में चुनावी तैयारियों में लग गई। संगठन में मजबूती के साथ साथ कई फेरबदल भी हो रहे हैं। इस चुनावी साल में IBC24 एक बार फिर आपके पास पहुंच रहा है। हम अपने कार्यक्रम चुनावी चौपाल के जरिए आपसे संवाद कर आपके मुद्दों को जानेंगे। आज हमारी टीम मध्यप्रदेश के विदिशा विधानसभा सीट पर पहुंची और लोगों से वहां की समस्याओं और विधायक के प्रदर्शन को लेकर बातचीत की।
Chunavi Chaupal in Vidisha : बेतवा नगरी के नाम से मशहूर विदिशा विधानसभा सीट मध्यप्रदेश की वीवीआईपी सीट मानी जाती है। यह विदेश मंत्री सुषमा स्वराज और सीएम शिवराज सिंह ये लोकसभा संसदीय क्षेत्र रहा है। 2013 के चुनाव में राज्य के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने यहां से चुनाव लड़ा था, हालांकि उन्होंने इस्तीफा दे दिया था, जिसके बाद उपचुनाव हुआ था।
यहां पर बीजेपी और कांग्रेस के बीच ही लड़ाई होती आई है। साल 1980 के बाद से ही यह सीट बीजेपी की मजबूत गढ़ रही है। यहां पर हुए अब तक चुनाव में कांग्रेस केवल तीन बार ही जीत हासिल कर पाई है। साल 1957 में हुए पहले चुनाव में कांग्रेस के विधायक ने जीत हासिल की। 1962 के चुनाव में हिंदू महासभा से गोरेलाल चुनाव जीते। इसके बाद 1967 में भारतीय जनसंघ के एस सिंह विधायक बने। 1972 में एक बार फिर कांग्रेस को जीत मिली और डॉ। सूर्य़प्रकाश सक्सेना ने चुनाव जीता। 1977 में जनता पार्टी के नरसिंह दास गोयल चुनाव जीते। 1980 से लेकर 2013 तक इस सीट पर बीजेपी का कब्जा था। 2018 के चुनावों में कांग्रेस ने एक बार फिर इस सीट पर वापसी की और भाजपा के जीच के सिलसिले को तोड़ा।
2018 में हुए विधानसभा चुनाव में बीजेपी के लिए सबसे सुरक्षित माने जाने वाली विदिशा विधानसभा सीट पर पार्टी को हार का सामना करना पड़ा। इस सीट से कांग्रेस के शशांक भार्गव ने जीत हासिल की। उन्हें 80,332 वोट मिले हैं। जबकि बीजेपी के मुकेश टंडन को 64,878 मिले।
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विधानसभा | समयांतराल | विधायक | पार्टी |
प्रथम | 1957-1962 | हीरालाल पिप्पल | भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस |
दूसरा | 1962-1967 | गोरे लाल | हिंदू महासभा |
तीसरा | 1967-1972 | एस सिंह | भारतीय जनसंघ |
चौथा | 1972-1977 | सूर्य प्रकाश | भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस |
पांचवां | 1977-1980 | नरसिंहदास गोयल | जनता पार्टी |
छठा | 1980-1985 | मोहर सिंह ठाकुर | भारतीय जनता पार्टी |
सातवाँ | 1985-1990 | मोहर सिंह ठाकुर | भारतीय जनता पार्टी |
आठवाँ | 1990-1993 | मोहर सिंह ठाकुर | भारतीय जनता पार्टी |
नौवां | 1993-1998 | मोहर सिंह ठाकुर | भारतीय जनता पार्टी |
दसवां | 1998-2003 | सुशीला देवी ठाकुर | भारतीय जनता पार्टी |
ग्यारहवाँ | 2003-08 | गुरुचरण सिंह | भारतीय जनता पार्टी |
बारहवां | 2008-13 | राघव जी | भारतीय जनता पार्टी |
तेरहवां | 2013-14 | शिवराज सिंह चौहान (रिटायर्ड) बुधनी सीट। | भारतीय जनता पार्टी |
2014-18 | कल्याण सिंह ठाकुर (उपचुनाव) | भारतीय जनता पार्टी | |
चौदहवां | 2018-अवलंबी | शशांक भार्गव | भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस |
विकास के सवाल पर एक स्थानीय व्यापारी ने कहा कि यहां विकास के काम तो बहुत अच्छे हुए हैं, विधायक का काम भी ठीक है। कांग्रेस विधायक और सरकार से तालमेल के सवाल एक वरिष्ठ नागरिक ने कहा कि सरकार और कांग्रेस विधायक के बीच तालमेल की कमी है। जिस तरह से विकास विदिशा के अंदर होना चाहिए था, नहीं हो पाया है। एक छात्र ने विदिशा को लेकर कहा कि यहां अवसर की कमी है, छोटे-बड़े कामों के लिए भोपाल जाना पड़ता है। मेडिकल कॉलेज पहले भी यहां खुल जाना था। लोगों को रोजगार के लिए पलायन करना पड़ रहा है।